आधार कार्ड के मिसयूज पर यूआईडीएआई का बड़ा प्रहार, 1.17 करोड़ नंबर रद्द

Aadhaar Card: मृतकों के आधार कार्ड के मिसयूज पर यूआईडीएआई ने बड़ा प्रहार किया है. मृत व्यक्तियों के आधार कार्ड का बड़े पैमाने पर होने वाले गलत इस्तेमाल को रोकने के लिए सख्त कदम उठाया गया है. यूआईडीएआई ने देश के करीब 24 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के करीब 1.17 करोड़ आधार नंबरों को रद्द कर दिया है. इतना नहीं, प्राधिकरण ने 100 साल से अधिक उम्र के लोगों के जीवित होने संबंधी जानकारी जुटाना भी शुरू कर दिया है और इसके लिए उसने राज्यों से जानकारियों को साझा भी किया है.

By KumarVishwat Sen | July 17, 2025 4:25 PM
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Aadhaar Card: देश में आधार कार्ड का गलत इस्तेमाल होने पर भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) ने सख्त कदम उठाते हुए करीब 1.17 करोड़ से अधिक आधार नंबर को रद्द कर दिया है. मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि मृतक व्यक्तियों के आईडी प्रूफ का गलत इस्तेमाल किया जा रहा था. इसे रोकने के लिए यूआईडीएआई ने उनके आधार नंबर को डिएक्टिवेट करना शुरू कर दिया है. इसी सिलसिले में 12 अंकों वाले करीब 1.17 करोड़ से अधिक आधार नंबर डिएक्टिवेट किए गए हैं.

व्यक्ति की मौत की सूचना देने के लिए पोर्टल शुरू

मनी कंट्रोल हिंदी की एक रिपोर्ट के अनुसार, यूआईडीएआई ने आधार कार्ड के गलत इस्तेमाल पर यह कदम उठाया है. देखा यह जा रहा था कि किसी व्यक्ति की मौत होने के बाद उनके आधार कार्ड का इस्तेमाल विभिन्न प्रकार की सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के लिए किया जा रहा था. यूआईडीएआई की ओर से जारी किए गए एक आधिकारिक बयान के अनुसार, अब तक 1.17 करोड़ से अधिक आधार नंबर बंद किए जा चुके हैं. ये सभी उन लोगों के आधार कार्ड हैं, जिनकी मौत हो चुकी है. अब यूआईडीएआई ने ‘माय आधार पोर्टल’ पर एक नई सुविधा शुरू की है. इसमें परिवार के सदस्य की मृत्यु की सूचना देने की सुविधा. इसके जरिए कोई भी व्यक्ति अपने परिवार के किसी मृत सदस्य की जानकारी दे सकता है.

यूआईडीएआई ने 24 राज्यों से जुटाए आंकड़े

रिपोर्ट में कहा गया है कि यूआईडीएआई ने देश के 24 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से करीब 1.55 करोड़ मृत्यु के आंकड़े जुटाए हैं. उसे यह जानकारी नागरिक पंजीकरण प्रणाली (सीआरएस) के माध्यम से हासिल हुई. इन आंकड़ों का सत्यापन करने के बाद करीब 1.17 करोड़ आधार नंबरों को रद्द करने का फैसला किया गया है. रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि जहां पर अभी सीआरएस काम नहीं कर रहा है, वहां यह प्रक्रिया जारी है. ऐसे राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से यूआईडीएआई को करीब 6.7 लाख से अधिक मृत्यु के आंकड़े मिले हैं. उन आधार नंबरों को भी रद्द करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है.

माय आधार पोर्टल पर कैसे जानकारी देंगे परिजन

यूआईडीएआई ने किसी व्यक्ति की मृत्यु होने पर माय आधार पोर्टल पर जानकारी देने की सुविधा शुरू की है. इसके माध्यम से संबंधित व्यक्ति के परिजन इसकी जानकारी दे सकते हैं. इसके लिए खुद को ओटीपी के जरिए प्रमाणित करने के साथ मृतक का आधार नंबर देना होगा. इसके साथ ही, मृतक व्यक्ति का मृत्यु प्रमाणपत्र नंबर और कुछ अन्य जनसंख्या संबंधी जानकारी देनी होगी. इस जानकारी की जांच के बाद यूआईडीएआई मृतक के आधार नंबर को निष्क्रिय कर देता है.

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100 से अधिक उम्र वालों के आधार कार्ड की जांच

इतना ही नहीं, यूआईडीएआई वैसे लोगों के आधार कार्ड की भी जांच कर रहा है, जिनकी उम्र 100 साल से अधिक हो गई है. यूआईडीएआई की ओर से यह काम अभी पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर शुरू की गई है. ऐसे व्यक्तियों की जानकारी और आंकड़े जुटाने के बाद संबंधित राज्यों के साथ शेयर किया जा रहा है. इसके जरिए यूआईडीएआई राज्य सरकारों के जरिए यह प्रामाणिक जानकारी हासिल करता है कि 100 साल से अधिक उम्र का संबंधित व्यक्ति जिंदा है या नहीं.

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