Guru Asta 2025: हिंदू ज्योतिषशास्त्र में वृहस्पति को देवताओं का गुरु माना जाता है. यह सूर्य के बाद सौरमंडल का सबसे बड़ा और प्रभावशाली ग्रह है. वृहस्पति को शुभ ग्रहों में सर्वोच्च स्थान प्राप्त है. ग्रहों का अस्त और उदय एक निश्चित कालखंड में होता है, जिसका प्रभाव न केवल राशियों पर, बल्कि देश-दुनिया की घटनाओं पर भी दिखाई देता है.
गुरु के अस्त होने पर मांगलिक कार्यों जैसे विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन और कर्ण छेदन आदि वर्जित हो जाते हैं. ज्योतिष में गुरु का शुभ होना विशेष रूप से महत्वपूर्ण माना जाता है क्योंकि यह ज्ञान, धर्म, सलाह, सकारात्मक सोच और जीवन प्रबंधन से जुड़ा हुआ ग्रह है.
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सामान्यतः वृहस्पति 13 महीने में एक बार राशि परिवर्तन करता है, लेकिन वर्ष 2025 में इसकी गति तेज रहने के कारण यह दो बार अपनी राशि बदलेगा. गुरु के अस्त और उदय का प्रभाव कुछ राशियों के लिए शुभ तो कुछ के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकता है.
ग्रह अस्त क्या होता है?
जब कोई ग्रह सूर्य के अत्यधिक निकट आ जाता है तो सूर्य के तेज के कारण उस ग्रह का प्रभाव क्षीण हो जाता है. इसे ही ज्योतिष में ग्रह का अस्त होना कहा जाता है. इस स्थिति में ग्रह की ऊर्जा कमजोर हो जाती है और उसका पूर्ण फल नहीं मिल पाता.
गुरु अस्त की तिथि व समय
- अस्त होंगे: 12 जून 2025, गुरुवार, रात्रि 07:56 बजे (मिथुन राशि में)
- उदय होंगे: 09 जुलाई 2025, बुधवार, प्रातः 04:45 बजे (मिथुन राशि में)
गुरु अस्त का राशियों पर प्रभाव
मेष राशि
गुरु नवम और द्वादश भाव के स्वामी होकर तीसरे भाव में अस्त होंगे. इस समय भाग्य का साथ, धन लाभ और कार्यस्थल पर सराहना मिलेगी. नौकरी में सुधार और दांपत्य जीवन में मधुरता आएगी.
वृषभ राशि
गुरु आपके दूसरे भाव में अस्त होंगे. आय में वृद्धि, व्यापार में उन्नति और पारिवारिक वातावरण सुखद रहेगा. प्रेम संबंधों में निकटता बढ़ेगी और उपहार मिलने की संभावना है.
कर्क राशि
गुरु द्वादश भाव में अस्त होंगे. मान-सम्मान में वृद्धि, स्थायी संपत्ति से लाभ, व्यापार में उन्नति और विदेश यात्रा का योग बनेगा. प्रेम और वैवाहिक जीवन सुखद रहेगा.
तुला राशि
गुरु नवम भाव में अस्त होंगे. भाग्य का साथ मिलेगा, उच्च शिक्षा में सफलता मिलेगी, कोर्ट-कचहरी के मामलों में लाभ होगा और वैवाहिक जीवन में सामंजस्य बना रहेगा.
मकर राशि
गुरु छठे भाव में अस्त होंगे. शत्रुओं पर विजय, रुका हुआ धन वापस मिलेगा और विदेश यात्रा के योग बन सकते हैं. आय सामान्य रहेगी और पारिवारिक सहयोग प्राप्त होगा.
मीन राशि
गुरु चौथे भाव में अस्त होंगे. भौतिक सुख-सुविधाएं, आय के नए स्रोत और करियर में उन्नति के संकेत मिलेंगे. उच्च अधिकारियों का सहयोग मिलेगा.
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ज्योतिषाचार्य संजीत कुमार मिश्रा
ज्योतिष वास्तु एवं रत्न विशेषज्ञ
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