थर्ड फ्लोर पर मर्डर हुआ लेकिन किसी को पता नहीं चला
पुलिस की जांच में यह बात सामने आई कि सुरभि का चैंबर अस्पताल के थर्ड फ्लोर पर था. बिना परमिशन चैंबर के अंदर किसी को घुसने की इजाजत नहीं थी. शनिवार को दोपहर के 2 बजे उन्हें गोली मारी गई. उस वक्त हॉस्पिटल में मरीज और स्टाफ मौजूद थे, लेकिन किसी ने गोली चलने की आवाज नहीं सुनी और ना ही किसी को वहां से आते- जाते देखा.
डॉ सुरभि के पति ने ससुर से क्यों छिपाई बात
हॉस्पिटल की डायरेक्टर डॉ सुरभि के पति राकेश रौशन अपने ससुराल में ही रहते थे. सुरभि के साथ राकेश भी पूरा हॉस्पिटल देखते थे. सुरभि को गोली लगने की बाद जब उन्होंने अपने ससुर यानि सुरभि के पिता को कॉल किया तो गोली लगने का जिक्र नहीं किया. राकेश के ससुर जब अस्पताल पहुंचे फिर वो गोली लगने वाली बात छिपाते रहे.
घटनास्थल से खून के दाग क्यों मिटाए गए
पुलिस की जांच में यह बात सामने आई कि जहां गोली मारी गई वहां खून का दाग नहीं था जबकि हॉस्पिटल स्टाफ ने कहा कि गोली लगने के बाद सुरभि का लगभग 4 लीटर खून बह चुका था. ऐसे में सवाल उठता है कि सुरभि की हत्या के बाद पूरे चैंबर से खून के निशान क्यों मिटाए गए?
बिहार की ताजा खबरों के लिए क्लिक करें
पुलिस को देर से क्यों सूचना दी गई
सुरभि को उनके चैम्बर में दोपहर करीब 2 बजे गोली मारी गई लेकिन पुलिस को 4 बजे के आसपास इसकी सूचना दी गई. गोली लगने के बाद ऐसा अस्पताल में ही उनका इलाज किया गया. जब तक पुलिस आती 6 बुलेट निकाला जा चुका था और क्राइम सीन से खून साफ कर दिया गया था.
कुछ दिन पहले क्यों बदले गए कैमरे
पुलिस जांच में यह बात भी सामने आई कि कुछ दिन पहले ही एशिया अस्पताल में CCTV कैमरों को बदला गया था. इस वजह से हॉस्पिटल के अंदर का एक भी कैमरा काम नहीं कर रहा था. सिर्फ हॉस्पिटल के मुख्य दरवाजे का सीसीटीवी कैमरा ही काम कर रहा था. हॉस्पिटल से बाहर निकलने के लिए 3 गेट और भी हैं. स्टाफ के मुताबिक अपराधी यहीं से भागे. जबकि जांच करने आई पुलिस का कहना है कि ये गेट पिछले कई दिनों से खुले ही नहीं.
इसे भी पढ़ें: Siwan News: 13 लड़की फरार होने के मामले में डीएम का बड़ा एक्शन, तीन निलंबित और दो दलों का हुआ गठन