बिहार में 30 प्रतिशत अधिक जीएसटी वसूली, पेट्रोल से आया सबसे अधिक राजस्व

GST Collection: आंकड़ों के अनुसार पेट्रोल से होने वाली राजस्व वसूली में सबसे अधिक वृद्धि दर्ज की गई है. यह वृद्धि राज्य सरकार की प्रभावी कर नीति और आर्थिक प्रबंधन से संभव हो सका है.

By Ashish Jha | April 3, 2025 1:08 PM
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GST Collection: पटना. कैलाशपति मिश्र. बिहार में मार्च 2024 की तुलना में मार्च 2025 में 30% अधिक जीएसटी संग्रह हुआ.मार्च 2024 में 1991 करोड़ का जीएसटी संग्रह हुआ था, जो मार्च 2025 में बढ़कर 2599 करोड़ हो गया है. हालांकि वित्तीय वर्ष 2023-24 के दौरान कुल जीएसटी संग्रह की तुलना में वित्तीय वर्ष 2024-25 में कुल वृद्धि 12% है. इस दौरान 2.89 लाख रिटर्न जीएसटीएन के सेंट्रल सर्वर पर और 3.63 लाख राज्य के सर्वर पर रिटर्न दाखिल किए गए. अमूमन वित्तीय वर्ष के अंतिम महीना में जीएसटी का संग्रह अधिक होता है. अभी राज्य में केवल साढ़े छह लाख कारोबारी ही जीएसटी में पंजीकृत हैं. हालांकि जीएसटी के नियम के तहत बीस लाख से कम सालाना कारोबार करने वालों को जीएसटी के तहत रजिस्ट्रेशन करने से छूट दी गई है.

वाणिज्य कर संग्रह में 8.84 फीसदी की वृद्धि

वाणिज्य कर विभाग की वित्तीय वर्ष 2024-25 के अस्थायी तुलनात्मक राजस्व संग्रह रिपोर्ट (प्रोविजनल कंपरेटिव रेवेन्यू कलेक्शन) के अनुसार विभाग के राजस्व संग्रह में 8.84 फीसदी की वृद्धि हुई है.जबकि राज्य सरकार ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 42,500 करोड़ के राजस्व संग्रह का लक्ष्य निर्धारित किया था.जिसके मुकाबले कुल 41,586.75 करोड़ राजस्व की प्राप्ति हुई है, जो निर्धारित लक्ष्य का 97.85 फीसदी है. आंकड़ों के अनुसार पेट्रोल से होने वाली राजस्व वसूली में सबसे अधिक वृद्धि दर्ज की गई है. यह वृद्धि राज्य सरकार की प्रभावी कर नीति और आर्थिक प्रबंधन से संभव हो सका है.

जीएसटी संग्रह में कुल छह फीसदी की वृद्धि

वित्तीय वर्ष 2024-25 में जीएसटी से कुल 29,359.76 करोड़ का राजस्व प्राप्त हुआ है, जो पिछले वर्ष की तुलना में छह फीसदी अधिक है.वर्ष 2023-24 में 27622 करोड़ का संग्रह हुआ था.वर्ष 2024-25 में एसजीएसटी से कुल 9,911.68 करोड़, आइजीएसटी सेटलमेंट से कुल 19,370.02 और सबस्यूम्ड टैक्स के बकाये संग्रह से कुल 55.69 करोड़ की प्राप्ति हुई है.इसके अतिरिक्त, 22.37 करोड़ की राशि मुआवजे के रूप में वसूली गई है.

गैर-जीएसटी संग्रह में 17.54 फीसदी की वृद्धि

राजस्व की मामले में गैर-जीएसटी श्रेणी में भी उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है. इस मद में कुल 12,226.99 करोड़ का संग्रह हुआ है. जिसमें पेट्रोल से 10,516.05 करोड़, आबकारी शुल्क से 1,513.98 करोड़ और प्रोफेशनल टैक्स से 195.85 करोड़ की प्राप्ति हुई है.

राजस्व लक्ष्य के करीब पहुंचा बिहार

राज्य सरकार ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 42,500 करोड़ के राजस्व संग्रह का लक्ष्य निर्धारित किया था.जिसके मुकाबले कुल 41,586.75 करोड़ राजस्व की प्राप्ति हुई है, जो निर्धारित लक्ष्य का 97.85 फीसदी है.

ग्रोथरेट के मामले में बिहार पांचवें स्थान पर

उल्लेखनीय है कि 1 जुलाई, 2017 को देशभर में जीएसटी लागू किया गया था.उस समय बिहार वाणिज्य कर विभाग का कर संग्रह मात्र 17,236 करोड़ था.जबकि वर्तमान में यह आंकड़ा 41,586.75 करोड़ तक पहुंच गया है. बिहार जीएसटी संग्रह ग्रोथरेट के मामले में पूरे देश में पांचवें स्थान पर है.यह निरंतर वृद्धि बिहार सरकार की प्रभावी कर प्रशासन प्रणाली और आर्थिक रणनीति को दर्शाती है.बिहार सरकार की ओर से किए जा रहे प्रयासों से भविष्य में और अधिक राजस्व वृद्धि की संभावना है.

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