पटना कॉलेज के हॉस्टल खुलवाने को लेकर सोमवार को छात्रों ने पटना विश्वविद्यालय परिसर में जमकर प्रदर्शन किया. छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन पर छात्रों के हित को नजर अंदाज करने की बात कही. प्रदर्शन के दौरान छात्रों ने विश्वविद्यालय के मेन गेट पर तालाबंदी की. तालाबंदी करने के बाद विश्वविद्यालय के डीन अनिल कुमार ने छात्रों को समझाते हुए ताला खुलवाया और उनकी मांगों को कुलपति के समक्ष रखने का आश्वासन दिया. मौके पर प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने बताया कि विश्वविद्यालय की ओर से पिछले 15 दिनों से हॉस्टल खोलने का केवल आश्वासन दिया जा रहा है. छात्रों का कहना है की अगर आने वाले समय में हॉस्टल को नहीं खोला जाएगा तो हमारा यह प्रदर्शन और भी उग्र होगा और विश्वविद्यालय पूर्ण रूप से तालाबंदी कर दी जायेगी.
किताब-कपड़े व कागजात हॉस्टल में ही पड़े हैं बंद
एक छात्र ने बताया कि हॉस्टल बंद होने की वजह से विद्यार्थियों के पढ़ाई पर भी असर पड़ रहा है. उन्होंने बताया कि किताबें और कपड़े हॉस्टल में ही बंद हैं जिसकी वजह से विद्यार्थी रेगुलर क्लास भी नहीं कर पा रहे हैं. छात्रों ने कहा कि कॉलेज प्रबंधन को सुरक्षा का प्रबंध करना चाहिए. छात्र लंबे समय से सीसीटीवी इंस्टॉल करने और बाहरी लोगों के कैंपस में प्रवेश पर रोक लगाने की मांग कर रहे हैं लेकिन अब तक सुरक्षा को लेकर कोई काम नहीं किया गया है.
क्या बोले विश्वविद्यालय के प्रॉक्टर
पटना विश्वविद्यालय के प्रॉक्टर प्रोफेसर रजनीश कुमार ने कहा कि हॉस्टल खाली कराने से पहले छात्रों को 24 घंटे का अल्टीमेटम दिया गया था लेकिन छात्रों ने अल्टीमेटम का पालन नहीं किया. जिस वजह से छात्रों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. विश्वविद्यालय प्रबंधन ने कॉलेज में शैक्षणिक माहौल कायम करने के लिए इस प्रकार का कड़ा निर्णय लिया है.
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