यूनियन नेताओं को 7 साल पूर्व वाला लड्डू प्रकरण याद आ गया. लड्डू की गुणवत्ता पर सवाल उठाने पर यूनियन के नेता को निलंबन तक की कार्रवाई झेलनी पड़ी. इसके कारण अब कोई लड्डू प्रकरण में कुछ नहीं कहना चाहता है. हालांकि, कर्मचारियों को 14 जुलाई, 2021 को सुबह नाश्ते में फफूंद लगे लड्डू मिलने के मामले की जानकारी प्रबंधन के अधिकारियों तक पहुंचायी गयी. इसके बावजूद अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गयी.
TSDPL कैंटीन में खाना कोरोना संक्रमध की वजह से मार्च 2020 से ही बंद है. नाश्ता आने पर ही कर्मचारियों को पता चलता है कि आज के नाश्ते का मैन्यू क्या है. इधर, एक यूनियन नेता के मुताबिक, कर्मचारियों के लिए जो नाश्ता दिया जाता है, उसकी गुणवत्ता मापने के लिए कोई पैमाना नहीं है. कोई कमेटी या पदाधिकारी नाश्ता की गुणवत्ता को नहीं देख सकते हैं.
Also Read: प्रभु जगन्नाथ के रथ भंगिनी की परंपरा आज भी निभायी जायेगी, रथ यात्रा के 5वें दिन हेरा पंचमी पर होता है आयोजन
बता दें कि TSDPL टाटा स्टील की एक संयुक्त उद्यम कंपनी है. इसमें टाटा स्टील की हिस्सेदारी 50 फीसदी है. TSDPL में टाटा स्टील के 10,94,24,806 इक्विटी शेयर है.
Posted By : Samir Ranjan.