रांची. भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पूर्व सांसद समीर उरांव ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के बयान पर पलटवार किया है. कहा है कि कांग्रेस पार्टी ने 60 वर्षों तक आदिवासियों को केवल वोट बैंक बनाकर रखा. विकास की कोई चिंता नहीं की. कांग्रेस की सोच आदिवासी विरोधी रही है. आज नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में जनजाति समाज के सर्वांगीण विकास की योजनाएं धरातल पर उतर रही हैं. इसके पूर्व अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने आदिवासी मंत्रालय बनाये और विकास के रास्ते को प्रशस्त किया. श्री उरांव ने कहा कि पिछले पांच वर्ष से ज्यादा समय से राज्य में कांग्रेस के समर्थन से सरकार चल रही है. आखिर क्यों पेसा कानून लागू नहीं हुआ. वन पट्टा देने के लिए किसने रोका है. उन्होंने कहा कि आदिवासी समाज की जमीन घुसपैठिये लूट रहे हैं. इसकी सुरक्षा क्यों नहीं हो रही है. उन्होंने कहा कि सिरमटोली सरना स्थल विवाद को राज्य सरकार और जटिल बना रही है. जबकि समाज के लोगों ने विवाद आगे नहीं बढ़े, इसके लिए जमीन भी दिया है. इससे स्पष्ट है कि इंडिया गठबंधन की सरकार की कथनी और करनी में आसमान-जमीन का अंतर है. यह सरकार आदिवासी समाज की हितैषी नहीं है.
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