ईडी की ओर से सरकार के साथ साझा की गयी सूचनाओं में कहा गया कि विष्णु अग्रवाल ने चेशायर होम रोड, सिरमटोली स्थित सेना की जमीन और नामकुम के पुगड़ू स्थित जमीन खरीदी है. संबंधित जमीन की खरीद बिक्री के लिए कोलकाता के रजिस्ट्री कार्यालय में रखे गये मूल दस्तावेज में छेड़छाड़ कर फर्जी डीड तैयार किये गये. इसके बाद इस जमीन की खरीद बिक्री की गयी. सिरमटोली स्थित सेना की जमीन की खरीद बिक्री के लिए भी जालसाजी की गयी और तथ्यों को छिपाया गया. इस जमीन को सेना के लिए अधिगृहित किया जा चुका था. लेकिन उसकी खरीद बिक्री के लिए दिखाया गया कि जमीन के अधिग्रहण की अनुशंसा की गयी थी. जमीन मालिक को भुगतान नहीं किये जाने की वजह से अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी नहीं हुई. इस दलील के साथ इस जमीन का मालिकाना हक विष्णु अग्रवाल को दिया गया. नामकुम स्थित जमीन की खरीद बिक्री में भी दस्तावेज मे काटछांट की गयी.
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प्रेम प्रकाश को राहत नहीं, याचिका खारिज
रांची. झारखंड हाइकोर्ट के जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत ने 1000 करोड़ रुपये से अधिक के अवैध खनन से जुड़े मनी लॉउंड्रिंग मामले में आरोपी प्रेम प्रकाश की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई की. सुनवाई पूरी होने के बाद अदालत ने प्रार्थी को राहत देने से इनकार कर दिया. साथ ही क्रिमिनल रिवीजन याचिका को खारिज कर दिया. अदालत ने कहा कि अवैध खनन मामले में प्रेम प्रकाश की संलिप्तता प्रतीत होती है. इडी की विशेष अदालत द्वारा प्रार्थी की डिस्चार्ज पिटीशन खारिज करने संबंधी आदेश को अदालत ने सही ठहराया. प्रार्थी प्रेम प्रकाश ने क्रिमिनल रिवीजन याचिका दायर कर इडी की विशेष अदालत द्वारा डिस्चार्ज पिटीशन खारिज करने को चुनाैती दी थी. मामले को लेकर इडी ने इसीआइआर-4/ 2022 दर्ज किया है. आरोपी प्रेम प्रकाश, पंकज मिश्रा, बच्चू यादव के खिलाफ इडी ने आरोप पत्र पूर्व में ही दाखिल कर दिया है.