रेनॉ इंडिया के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) एवं प्रबंध निदेशक वेंकटराम ममिलापल्ले ने कहा, हम इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) बाजार में उतर रहे हैं. हम चार मीटर से लंबे वाहन वाले खंड में भी उतर रहे हैं. हमारे पास भारत में पहले से ही क्विड, काइगर और ट्राइबर जैसी कारें हैं. उन्होंने कहा, रेनो के लिए वृद्धि का रुझान लगातार अच्छा रहा है. मुझे लगता है कि नये उत्पादों के साथ हम (लाभ के मामले में) और अच्छा करेंगे.
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ममिलापल्ले ने निसान के साथ साझेदारी में विकसित होने वाले मॉडल के बारे में पूछे जाने पर कहा कि नये प्रोडक्ट के वर्ष 2025 में बाजार में आने की संभावना है और वह चार मीटर से लंबे वाहन सेगमेंट में होगा. उन्होंने नये मॉडल के बारे में कोई ब्योरा देने से इनकार करते हुए कहा, हम चार मॉडलों पर काम कर रहे हैं. इस दिशा में तेजी से काम चल रहा है. हम अपने डीलर नेटवर्क को भी बढ़ाने की कोशिश कर रहे हैं.
भारत में कुल वाहन बिक्री पर ममिलापल्ले ने कहा कि रेनॉ ने घरेलू बाजार में पिछले वर्ष रिकॉर्ड 84,000 वाहन बेचे थे जबकि 28,000 वाहनों का निर्यात किया गया था. उन्होंने कहा कि कंपनी के तमिलनाडु स्थित संयंत्र ने 10 लाख वाहनों के उत्पादन का ऐतिहासिक आंकड़ा पार कर लिया है. रेनॉ इंडिया का तमिलनाडु में चेन्नई के पास ओरगडम में उत्पादन संयंत्र है. इसमें निसान ऑटोमोटिव इंडिया प्राइवेट लिमिटेड भी उसकी साझेदार है. रेनॉ की उत्पादन क्षमता लगभग 4.80 लाख इकाई प्रतिवर्ष है. (भाषा इनपुट के साथ)
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