Rules Change: अब पीएफ से घर खरीदना हुआ आसान, सरकार ने बदले नियम

Rules Change: सरकार ने कर्मचारी भविष्य निधि (EPF) नियमों में बड़ा बदलाव करते हुए अब घर खरीदने को पहले से कहीं अधिक आसान बना दिया है. नए नियमों के तहत, कर्मचारी अब पीएफ खाते से 90% तक की राशि डाउन पेमेंट, EMI या घर के निर्माण के लिए निकाल सकते हैं. वो भी सिर्फ 3 साल की सदस्यता के बाद. यह कदम पहली बार घर खरीदने वालों के लिए एक बड़ी राहत साबित हो रहा है और इससे रियल एस्टेट सेक्टर में भी नई ऊर्जा आई है.

By Abhishek Pandey | July 13, 2025 8:52 AM
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Rules Change: केंद्र सरकार ने हाल ही में कर्मचारी भविष्य निधि (EPF) नियमों में अहम बदलाव किए हैं, जो खासकर उन वेतनभोगी कर्मचारियों के लिए राहत लेकर आए हैं, जो पहली बार घर खरीदना चाहते हैं लेकिन डाउन पेमेंट के लिए धन जुटाने में कठिनाई महसूस कर रहे थे. अब EPF खाते से पैसे निकालकर घर की डाउन पेमेंट की जा सकेगी, जिससे मकान खरीदना पहले से काफी आसान हो जाएगा.

3 साल बाद 90% तक PF निकासी संभव

EPFO ने EPF योजना, 1952 में नया प्रावधान “पैरा 68-BD” जोड़ा है, जिसके तहत अब कोई भी सदस्य अपने PF खाते से 3 वर्षों के बाद 90% तक की राशि निकाल सकता है. यह रकम मकान की डाउन पेमेंट, EMI भुगतान या नए घर के निर्माण में इस्तेमाल की जा सकती है.

पहले क्या था नियम?

पहले, PF खाते से निकासी के लिए कम से कम 5 वर्षों की सदस्यता जरूरी थी. साथ ही, निकासी की राशि कर्मचारी व नियोक्ता के 36 महीनों के योगदान और उस पर मिलने वाले ब्याज या संपत्ति की लागत में से जो भी कम हो, उतनी ही निकाली जा सकती थी. इसके अलावा, अगर कोई सदस्य किसी हाउसिंग स्कीम से जुड़ा था, तो वह निकासी नहीं कर सकता था.

निकासी सुविधा केवल एक बार: ध्यान देने योग्य बातें

हालांकि यह सुविधा काफी मददगार है, लेकिन इसे एक सदस्य केवल एक बार ही अपने जीवन में इस्तेमाल कर सकता है. विशेषज्ञ मानते हैं कि इस बदलाव से न केवल रियल एस्टेट सेक्टर को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि मध्यम वर्ग का “अपना घर” सपना साकार हो सकेगा.

पहली बार घर खरीदने वालों के लिए वरदान

अभिषेक राज, संस्थापक और CEO, Zenica Ventures का कहना है कि यह बदलाव भारतीय हाउसिंग मार्केट के लिए “गेम-चेंजर” साबित हो सकता है. उन्होंने कहा, “अधिकतर लोगों के लिए सबसे बड़ी चुनौती डाउन पेमेंट की होती है. अब जब लोग अपने PF का उपयोग कर सकते हैं, तो यह वित्तीय अड़चन काफी हद तक दूर हो गई है.”

उनके अनुसार NCR, पुणे, इंदौर और लखनऊ जैसे शहरों में ग्राहक अब पहले से अधिक उत्साहित और गंभीर दिख रहे हैं. उन्होंने यह भी चेताया कि सदस्य निकासी करते समय यह ध्यान रखें कि वे अपनी रिटायरमेंट सुरक्षा को नुकसान न पहुंचाएं.

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