Chanakya Niti: इन लोगों के कामों में दखल देने वालों को झेलने पड़ते हैं भयंकर परिणाम, आचार्य चाणक्य से जानें
Chanakya Niti: आज हम आपको कुछ ऐसे लोगों के बारे में बताने जा रहे हैं जिनके कामों में आपको गलती से भी दखल नहीं देना चाहिए. जब आप इनके कामों में दखल देते तो आप पर मुसीबतों का मुसीबतों का पहाड़ टूट सकता है.
By Saurabh Poddar | June 22, 2025 9:02 PM
Chanakya Niti: आचार्य चाणक्य को अपने समय से सबसे ज्ञानी और विद्वान व्यक्ति के तौर पर भी जाना जाता है. लोग इन्हें अक्सर कौटिल्य या फिर विष्णुगुप्त के नाम से भी जानते है. भारत के प्राचीनतम और सबसे प्रभावशाली विद्वानों में से एक थे. वे न केवल एक महान अर्थशास्त्री, शिक्षक और कूटनीतिज्ञ थे, बल्कि उन्होंने ‘चाणक्य नीति’ नामक ग्रंथ के माध्यम से जीवन के हर पहलू को सरल, सटीक और प्रभावशाली तरीके से समझाया है. आचार्य चाणक्य ने अपनी नीतियों कुछ ऐसे लोगों का भी जिक्र किया है जिनके कामों में आपको भूलकर भी दखल नहीं देनी चाहिए. आचार्य चाणक्य की अगर माने तो जो भी इंसान इनके कामों में दखल देता है उसे जीवन में कई तरह की समस्याओं से जूझना पड़ सकता है. तो चलिए इनके बारे में विस्तार से जानते हैं.
हवन के दौरान पुजारी के बीच न दें दखल
चाणक्य नीति के अनुसार आपको कभी भी गलती से भी हवन के दौरान पुजारी को नहीं टोकना चाहिए. आपको हर कीमत पर ऐसी गलती करने से बचना चाहिए. अगर आप हवन के दौरान पुजारी के कामों में दखल देते हैं तो आपको सिर्फ पुजारी का ही नहीं बल्कि आसपास मौजूद लोगों का भी गुस्सा झेलना पड़ सकता है.
आचार्य चाणक्य के अनुसार एक समझदार इंसान वहीं होता है जो गलती से भी किसी पति-पत्नी के बीच बात नहीं करता है या फिर उनके बीच दखल नहीं देता है. चाहे वह आपके माता-पिता ही क्यों न हो या फिर आपके बेटे-बेटी. आपको गलती से भी एक पति-पत्नी के बीच बात नहीं करनी चाहिए. कई बार ऐसा होता है कि पति-पत्नी के रिश्ते को सुधारने के लिए हम इनके बीच दखल दे देते हैं. अगर आप ऐसा करते हैं तो रिश्ते सुधरने की जगह पर और भी बिगड़ जाते हैं.
बुद्धिमान लोगों के बीच बोलने से बचें
चाणक्य नीति के अनुसार आपको गलती से भी उस समय अपना मुंह नहीं खोलना चाहिए जब दो ज्ञानी या फिर बुद्धिमान आपस में बात या फिर चर्चा कर रहे हों. जब आप ऐसा करते हैं तो इनकी बातचीत में रूकावट आती है. जब आप ऐसा करते हैं तो आसपास मौजूद सभी लोग आपको बेवकूफ या फिर मूर्ख समझने लगते हैं. जब आप दो ज्ञानी व्यक्ति के बीच बात करते हैं तो लोग आपको एक अच्छा इंसान नहीं समझते हैं और आपकी इज्जत भी चली जाती है.