हर स्त्री के लिए प्रेरणा हैं ये महिलाएं, जानिए इनके बारे में

जब हमारे सामने सफल उदाहरण हों, तो आगे बढ़ने की प्रेरणा स्वत: मिल जाती है. मौजूदा पितृसत्तामक समाज में हमारे बीच कुछ ऐसी महिलायें भी हैं, जिन्होंने तमाम मुश्किलों के बीच आत्मविश्वास के दम पर अलग पहचान बनायी, वह भी पारिवारिक मूल्यों को सहेजते हुए.

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 24, 2023 2:19 PM
an image

किसी परिचय की मोहताज नहीं हैं. अपने शर्तों या मूल्यों से समझौता न करते हुए एक पत्नी-मां व एक नारीवादी समाजसेवी होने के साथ-साथ एंटरप्रेन्योर की भूमिका भी बखूबी निभा रही हैं. बिजनेस वुमेन सर्किक में उनकी मौजूदगी कई एंटरप्रेन्योर महिलाओं के लिए प्रेरणादायी है.

मैंगते चंग्नेइजैंग मैरी कॉम, जिनको मैरी कॉम के नाम से भी जाना जाता है. वह भारतीय महिला मुक्केबाज जो आज करोड़ों महिलाओं के लिए बेमिसाल आदर्श हैं. अपने परिवार, तीन बच्चों के बाद भी मुक्केबाजी के करियर को सफल मुकाम तक पहुंचाया. बॉक्सिंग रिंग और परिवार की जिम्मेदारियों के बीच शानदार संतुलन तमाम उतार-चढ़ाव के बाद भी बना कर रखा. जाहिर है यह आसान तो नहीं रहा होगा, विशेषकर तब जब पितृसत्तात्मक चहारदीवारी हर कदम पर परीक्षा लेती हो.

अमेजन में नौकरी, जुंबा इंस्ट्रक्टर, मैराथन रनर और यूट्यूबर हिमजा अप्पराशेरुवु कई युवा महिलओं के लिए एक प्रेरणा हैं, जिन्होंने हिंदी-अंग्रेजी की बाधाओं से लड़ते हुए न केवल आइआइटी-आइआइएम से डिग्री लेकर करियर को सफल बनाया, दो बच्चों की जिम्मेदारी भी बखूबी निभायी, वह भी आंध्र प्रदेश के एक छोटे-से गांव से निकलकर.

हिंदी और मराठी फिल्म अभिनेत्री सुप्रिया पाठक की अपनी स्वतंत्र पहचान है. प्रसिद्ध फिल्म अभिनेता पंकज कपूर से शादी के बाद उन्होंने न ही अपने अभिनय करियर को अलविदा कहा और न ही अपने पारिवारिक जिम्मेदारियों से पल्ला झाड़ा. परिवार और करियर के बीच में उनका संतुलन दिखाता है, जहां चाह है वहां रास्ते भी बन ही जाते हैं.

कॉमनवेल्थ खेलों में पहली बार लॉन बॉल में भारतीय महिलाओं ने स्वर्ण पदक अपने हिस्स में डाले, रूपा रानी तिर्की भी उस दल का हिस्सा रहीं. उन्होंने कैंप में रोज 8-8 घंटे प्रैक्टिस की. यहां तक कि शादी को एक महीना ही हुआ था, जब उन्हें कैंप के लिए बुला लिया गया. जीवनसाथी के साथ ही नहीं, खेल के मैदान में साथी खिलाड़ियों का भी बखूबी साथ दिया. रूपा रानी मानती हैं- परिवार, खेल और नौकरी सब कुछ एक साथ मैनेज करना चुनौतिपूर्ण है, पर असंभव भी नहीं.

संबंधित खबर
संबंधित खबर और खबरें
होम E-Paper News Snaps News reels
Exit mobile version