उन्होंने एक संवाददाता सम्मेलन में बताया, ‘‘यह अवैध और अनैतिक है. दिल्ली के लोग आपके (केजरीवाल के) पाप के लिए भुगतान क्यों करें ? यह उनके धन की डकैती और लूट है और पूरी तरह अस्वीकार्य है.” जावडेकर ने कहा कि जेटली ने अपनी जेब से 10 लाख रुपये की स्टैंप ड्यूटी का भुगतान किया था और अपने वकीलों के बिल का भी भुगतान करते रहे हैं.
उन्होंने आरोप लगाया कि केजरीवाल की राजनीति दूसरों को बदनाम करने पर टिकी है और लोगों को उनके ‘‘पापों” के लिए भुगतान नहीं करना चाहिए. खबरों के मुताबिक, दिल्ली सरकार ने केजरीवाल के वकील की ओर से मांगे गए करीब चार करोड़ रुपए के बिल के भुगतान का प्रस्ताव तैयार किया, लेकिन उप-राज्यपाल अनिल बैजल ने इस मामले में सॉलिसिटर जनरल रंजीत कुमार से सलाह मांगी है.
जावडेकर ने कहा कि केजरीवाल मानहानि के कम से कम सात मुकदमों का सामना कर रहे हैं, ऐसे में उनसे भुगतान के लिए कहा जाए तो क्या दिल्ली सरकार 100 करोड रुपए से ज्यादा का बिल भरेगी. केंद्रीय मंत्री ने ‘आप’ पर आरोप लगाया कि पहले तो उसने ऐसे किसी प्रस्ताव से इनकार किया, लेकिन अब दावा कर रही है कि सरकार इस बिल का भुगतान करना चाहती है क्योंकि मामला मुख्यमंत्री के खिलाफ है.