Sawan 2025 में सुबह 4 बजे उठकर करने वाली ये 5 आदतें बदल सकती हैं आपकी किस्मत
Sawan 2025 : सावन में यदि आप सुबह 4 बजे उठकर ये आदतें नियमित रूप से अपनाते हैं, तो निश्चित ही जीवन में सकारात्मक बदलाव, आध्यात्मिक उन्नति और शिव कृपा का अनुभव होगा.
By Ashi Goyal | July 15, 2025 10:59 PM
Sawan 2025 : सावन का महीना भगवान शिव की कृपा पाने का श्रेष्ठ अवसर होता है. शास्त्रों में कहा गया है कि जो व्यक्ति इस पावन मास में ब्रह्म मुहूर्त उठकर पुण्य कर्म करता है, उसके जीवन की नकारात्मकतायें धीरे-धीरे समाप्त होने लगती हैं और सौभाग्य का उदय होता है.यदि आप चाहते हैं कि आपकी किस्मत पलटे और जीवन में मानसिक शांति, सफलता व ईश्वर कृपा प्राप्त हो, तो सावन में सुबह 4 बजे उठकर ये आदतें अपनाना आपके लिए वरदान साबित हो सकती हैं:-
– ब्रह्म मुहूर्त में उठकर भगवान शिव का स्मरण करें
सुबह 4 बजे का समय “ब्रह्म मुहूर्त” कहलाता है, जिसे देवताओं का समय कहा गया है.
इस समय उठकर सबसे पहले “ओम नमः शिवाय” का स्मरण करने से मन शांत होता है.
ऐसा करने से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है और दिनभर सकारात्मकता बनी रहती है.
– जल से स्नान करके शिवलिंग पर जल चढ़ाएं
सावन में शिवलिंग पर जल अर्पण करना अत्यंत शुभ फलदायक होता है.
ब्रह्म मुहूर्त में स्नान के बाद गंगाजल, बेलपत्र, और धतूरा चढ़ाने से भगवान शिव अति प्रसन्न होते हैं.
इससे कष्टों से मुक्ति, कार्यों में सफलता और मानसिक स्थिरता प्राप्त होती है.
– पंचाक्षरी मंत्र का जाप करें (ओम नमः शिवाय)
सुबह 4:30 से 5 बजे के बीच कम से कम 108 बार “ओम नमः शिवाय” मंत्र का जाप करें.
यह मंत्र आत्मा को शुद्ध करता है और मन के विकारों का नाश करता है.
नियमित जाप से भाग्य तेज होता है और शिव कृपा निरंतर बनी रहती है.
– शिव पुराण या अध्यात्मिक ग्रंथों का पाठ करें
ब्राह्मणों और पंडितों की मान्यता है कि ब्रह्म मुहूर्त में धार्मिक ग्रंथों का अध्ययन करने से गहरी आध्यात्मिक ऊर्जा प्राप्त होती है.
शिव पुराण, श्रीमद्भागवत, भगवद गीता जैसे ग्रंथों का पाठ विशेष फलदायी होता है.
– 10 मिनट ध्यान और मौन व्रत रखें
ध्यान और मौन से आंतरिक शक्ति जाग्रत होती है.
यह अभ्यास आपके विचारों को नियंत्रित करता है और जीवन में दृष्टिकोण सकारात्मक बनाता है.
यह आदत धीरे-धीरे आपको पॉजिटिव एनर्जी, आत्मबल और ब्रह्मचेतना की ओर ले जाती है.
सावन 2025 में यदि आप सुबह 4 बजे उठकर ये आदतें नियमित रूप से अपनाते हैं, तो निश्चित ही जीवन में सकारात्मक बदलाव, आध्यात्मिक उन्नति और शिव कृपा का अनुभव होगा.भगवान शिव का आशीर्वाद पाने के लिए केवल कर्म नहीं, बल्कि श्रद्धा और नियमितता भी आवश्यक है.