रोहित ने खुद ही खुद को किया प्लेइंग इलेवन से बाहर
संजय मांजरेकर ने कहा, ‘रोहित के उस इंटरव्यू के पीछे एक और कारण भी था. वह था स्थिति साफ करना. मुझे लगता है कि रोहित शर्मा को बाहर रखकर लिए गए उनके साहसिक फैसले का सारा श्रेय गंभीर को ही मिल रहा था. वह रिकॉर्ड को सही करना चाहते थे. ईमानदारी से कहें तो. मुझे वह साक्षात्कार बहुत पसंद आया. वह पहला अंश जिसमें उन्होंने कहा, मैं एक और खराब फॉर्म वाले बल्लेबाज को अंतिम एकादश में नहीं रख सकता था.’
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चयनकर्ता ही तय करेंगे कि कौन खेलेगा और कौन नहीं
मांजरेकर ने कहा, ‘एक बात जो बहुत से खिलाड़ी कहते हैं, वह यह है कि मैं अपना भविष्य खुद तय करूंगा. मुझे इससे दिक्कत है. आप संन्यास के संबंध में अपना भविष्य तय कर सकते हैं, लेकिन खिलाड़ी और कप्तान के रूप में आपके भविष्य का फैसला करने का काम किसी और को मिला है. वह जो चयनकर्ताओं का अध्यक्ष है, उसी को यह फैसला करना है कि आप टीम में रहेंगे या नहीं रहेंगे.’
चयनकर्ता तय करेंगे कि आपको कब संन्यास लेना है
उन्होंने कहा, ‘संन्यास लेना आपके हाथ में है, लेकिन भारत के लिए खेलना आपके हाथ में नहीं है. आपको पद का सम्मान करना होगा, चाहे आप कितने भी बड़े क्यों न हों. यदि चयनकर्ताओं का अध्यक्ष मजबूत है और वह भारतीय क्रिकेट के दीर्घकालिक हेल्थ में विश्वास करता है, तो उसके पास यह निर्णय लेने का अधिकार है कि आपका करियर अभी समाप्त हो जाना चाहिए या आपको कुछ और मैच खेलने चाहिए या एक और सीरीज खेलनी चाहिए.’