पेरिस 2024 में भारतीय टीम के साथ लगातार दूसरा ओलंपिक पदक जीतने वाले दिग्गज भारतीय गोलकीपर PR Sreejesh ने कहा कि पहलवान विनेश फोगट पदक की हकदार हैं.
PTI के साथ बातचीत के दौरान कही ये बड़ी बात
श्रीजेश ने मंगलवार को नई दिल्ली में पीटीआई के मुख्यालय में संपादकों के साथ बातचीत में कहा, ‘दो दृष्टिकोण हैं, एक एथलीट होने के नाते वह पदक की हकदार हैं, फाइनल में पहुंचकर उन्होंने उनसे पदक छीन लिया, रजत पदक तो निश्चित ही. वह मजबूत थीं. अगर मैं उनकी स्थिति में होता, तो मुझे नहीं पता कि मैं क्या करता.’
पेरिस ओलंपिक के बाद हॉकी से संन्यास लेने वाले श्रीजेश ने कहा, ‘अगले दिन कांस्य पदक मैच से पहले मैं उनसे मिला और उन्होंने कहा ‘भाई गुड लक, अच्छा खेलो’.
VIDEO | @ 𝟒 𝐏𝐚𝐫𝐥𝐢𝐚𝐦𝐞𝐧𝐭 𝐒𝐭𝐫𝐞𝐞𝐭: "It depends… every team has got their weapons, so they balance. Most of the times when our forwards get into the zone, the first thought that comes into their mind is like… 'okay, just go for a PC (penalty corner) because that's… pic.twitter.com/ZUo0H7VVPx
— Press Trust of India (@PTI_News) August 13, 2024
‘वह एक असली योद्धा हैं’: PR Sreejesh
मुझे लगा कि वह अपनी मुस्कान से अपना दर्द छिपा रही हैं. वह एक असली योद्धा हैं.’ पेरिस ओलंपिक 2024 में 50 किग्रा वर्ग में भाग लेने वाली विनेश को फाइनल की सुबह अपने वजन वर्ग में 100 ग्राम अधिक वजन होने के कारण स्वर्ण पदक मुकाबले से पहले अयोग्य घोषित कर दिया गया था.
हालांकि भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) ने उनकी अयोग्यता को खेल पंचाट न्यायालय (सीएएस) में चुनौती दी है, लेकिन इस मामले पर निर्णय अभी तक घोषित नहीं किया गया है.
विनेश ने क्यूबा की युस्नेलिस गुजमान लोपेज के साथ रजत पदक साझा करने की अपील की. 29 वर्षीय विनेश ओलंपिक में असाधारण फॉर्म में थीं. उन्होंने पहले दौर में टोक्यो ओलंपिक की स्वर्ण पदक विजेता जापान की यू सुसाकी को, दूसरे दौर में यूक्रेन की पूर्व यूरोपीय चैंपियन ओक्साना लिवाच को और सेमीफाइनल में लोपेज को हराया.
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Vinesh Phogat: 16 अगस्त को आना है फैसला
लेकिन विनेश के अयोग्य घोषित होने के बाद लोपेज ने फाइनल में उनकी जगह ली और रजत पदक जीता. अब विनेश को सीएएस के फैसले का इंतजार है, जो 16 अगस्त को घोषित किया जाएगा.
श्रीजेश ने कहा, ‘मैं अपनी उंगलियां क्रॉस करके बैठा हूं. एक एथलीट होने के नाते, मैं बस उसके लिए शुभकामनाएं देता हूं. जिस तरह से उसने कड़ी मेहनत की, हम जानते हैं कि पिछले एक साल में वह किस दौर से गुजरी है और वहां से वह वापस आ रही है, ओलंपिक फाइनल के लिए क्वालीफाई कर रही है, यही सभी के लिए जवाब है. मुझे वास्तव में उसके लिए बुरा लगा, यह एक कठिन स्थिति है.’
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