– राजद नेता सह विधान पार्षद ने उठाये सवाल बेतिया . विधान पार्षद व राजद नेता सौरभ कुमार ने कहा है कि चंपारण के लोगों में उस समय उत्साह की लहर दौड़ गई, जब पाटलिपुत्र – गोरखपुर वंदे भारत एक्सप्रेस की घोषणा हुई. लोगों ने इसे तेज़, आधुनिक और आरामदायक यात्रा का नया अध्याय माना, लेकिन ट्रेन का आरंभिक परिचालन ही इन उम्मीदों को गहरी निराशा में बदल रहा है.उन्होंने कहा कि जहां मौजूदा 15556 बापूधाम मोतिहारी – पाटलिपुत्र इंटरसिटी एक्सप्रेस नौ स्टॉपेज के साथ मात्र 3 घंटे 30 मिनट में गंतव्य तक पहुंचती है. वहीं वंदे भारत एक्सप्रेस केवल 2 स्टॉपेज (मुजफ्फरपुर और हाजीपुर) के बावजूद 3 घंटे 35 मिनट में यह दूरी तय कर रही है. यह प्रदर्शन रेलवे द्वारा किए गए हाईस्पीड दावे को कटघरे में खड़ा करता है. उन्होंने वंदे भारत एक्सप्रेस के किराया तालिका पर भी सवालिया निशान लगाते हुए कहा कि यात्रा की लागत भी जनता को बुरी तरह झकझोर रही है. एक ओर जहां इंटरसिटी एक्सप्रेस का किराया 75 रुपया निर्धारित है. वहीं वंदे भारत चेयर कार का किराया 570 रुपया रखा गया है. जबकि वंदे भारत एग्जीक्यूटिव क्लास का किराया 1050 रुपया निर्धारित है. यह स्थिति उन गरीब एवं मध्यमवर्गीय यात्रियों के लिए चिंता का विषय है, जो कभी पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव द्वारा शुरू की गई गरीब रथ जैसी किफायती वातानुकूलित सेवा का लाभ उठाते थे. उस दौर में बिना किराया बढ़ाए रेलवे को मुनाफे में लाया गया था. उन्होंने आरोप लगाया कि यह विकास नहीं, जनता के साथ लूट है. वर्तमान स्थिति में वंदे भारत न तो तेज़ है, न सस्ती, न ही व्यवहारिक. उन्होंने ट्रेन की गति में सुधार कर उसे हाईस्पीड की कसौटी पर खरा उतारने, किराया पुनः निर्धारण कर आम यात्रियों के अनुकूल करने की मांग की है.
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