टीम में कौन-कौन थे शामिल
महिला के शिकायत पर निगरानी थाना पटना में कांड संख्या 128/2025 दर्ज किया गया था. मामले का सत्यापन करने की जिम्मेवारी निगरानी के एएसआई मणिकांत सिंह को सौंपी गयी, जांच में मामला सत्य पाया गया. इसके बाद एक सात सदस्यीय टीम का गठन किया गया. जिसमें उनके अलावे डीएसपी पवन कुमार झा, मिथलेश कुमार, इंस्पेक्टर मुरारी प्रसाद, एएसआई मणिकांत सिंह , एएसआई कुमार रितेश, राकेश कुमार, पीटीसी रणधीर कुमार, मनोज कुमार,अंकित कुमार थे.
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क्या बोले ASI
एएसआई मणिकांत सिंह ने बताया कि एसटी/एससी केस के अनुसंधानकर्ता राशिद कमाल थें, जिनके द्वारा कुल 40 हजार रुपयों की मांग की जा रही थी, पैसे की लेनदेन की मध्यस्थता सब इंस्पेक्टर लकी आनंद कर रहे थें. बुधवार की सुबह भगवानपुर थाने में भभुआ एसडीपीओ शिवशंकर कुमार भी पहुंचे थें, जिनके साथ वार्ता कर निगरानी एनिमेशन ब्यूरो के पदाधिकारी आगे की कानूनी प्रक्रिया में जुटे थें.
इस दौरान थाने में पहुंचे कुछ फरियादियों के बताए अनुसार उक्त दोनों हीं पुलिस पदाधिकारियों को घुंस लेते रंगे हाथ पकड़ने के दौरान उनकी गिरफ्तारी करने में निगरानी ब्यूरो की टीम ने मामूली बल का भी प्रयोग किया, हालांकि विजिलेंस टीम के उपाधिक्षक शमीरचंद्र ने दोनों हीं सब इंस्पेक्टरों के गिरफ्तारी के लिए बल प्रयोग किए जाने वाली बात से इंकार किया. पूछताछ के बाद दोनों एसआई को निगरानी टीम पटना ले गई, वहीं टीम बता रही थी कि पटना जाने से पूर्व कुछ देर तक भभुआ सर्किट हाउस में भी रुकेगी.
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