मधेपुरा. कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत के ऑपरेशन सिंदूर के दौरान नागरिक सुरक्षा इकाई (सिविल डिफेंस यूनिट) का महत्व सामने आया. सरकार द्वारा नागरिकों को आपदाओं और हमलों से सुरक्षित रखने के लिए जगह-जगह इसकी इकाई गठित करने का निर्णय लिया गया है. इसमें मधेपुरा सहित बिहार के 24 जिलों को शामिल किया गया है. राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) के कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ सुधांशु शेखर ने बताया कि नागरिक सुरक्षा इकाई के लिए 192 पद सृजित किए जायेंगे. इसमें प्रत्येक जिले में दो-दो लिपिकों की नियुक्ति की जायेगी. इसके अलावा दो कार्यपालक सहायक और दो डाटाएंट्री ऑपरेटर को संविदा पर बहाल किया जायेगा. इसमें कार्य करने वाले स्वयंसेवकों को प्रतिदिन 400 रुपये ड्यूटी अलाउंस भी मिलेगा. देशभर में चल रहा है अभियान उन्होंने बताया कि देश की वर्तमान स्थिति को दृष्टिगत रखते हुए देशभर में 18 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों का माय भारत पोर्टल पर सिविल डिफेंस वॉरियर्स के रूप में पंजीकरण किया जा रहा है. इसमें एनएसएस के सभी स्वयंसेवकों का पंजीयन अनिवार्य है. पंजीकृत स्वयंसेवकों को प्रशिक्षण प्रदान करने की योजना है. प्रशिक्षण के माध्यम से उन्हें आपदा प्रबंधन, प्राथमिक चिकित्सा, जन-सहायता आदि विषयों में दक्ष किया जायेगा. स्वयंसेवकों को सेवा के साथ-साथ आर्थिक सहयोग पाने का भी अवसर मिलेगा. राष्ट्रहित का एक अत्यंत ही महत्वपूर्ण कार्य उन्होंने बताया कि युवाओं को सिविल डिफेंस वॉरियर के रूप में प्रशिक्षण देना राष्ट्रहित का महत्वपूर्ण कार्य है. कुलपति प्रो बीएस झा इससे संबंधित कार्य को प्राथमिकता देने का निदेश दिया है. उनके निदेशानुसार सभी प्रधानाचार्यों को पत्र प्रेषित कर इसके प्रचार-प्रसार का अनुरोध किया गया है.
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