22 दिसंबर को महर्षि मेंहीं आश्रम आ रहे संघ प्रमुख
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत 22 दिसंबर को कुप्पाघाट स्थित महर्षि मेंहीं आश्रम पहुंचेंगे. वे इस बार वर्तमान आचार्य श्री हरिनंदन बाबा का कुशल-क्षेम जानने आ रहे हैं. इस बार आश्रम में साधु-संन्यासियों के बीच छह घंटे समय बितायेंगे. अखिल भारतीय संतमत सत्संग महासभा के महामंत्री दिव्य प्रकाश ने यह जानकारी दी. महासभा के पदाधिकारी व संघ के पदाधिकारियों के बीच मोहन भागवत के आगमन को लेकर व्यवस्था की समीक्षा भी की गयी है. इस दौरान कार्यक्रम की रूपरेखा तय की गयी.
प्रस्थान के समय फिल्म का जारी करेंगे लुक आउट
महामंत्री दिव्य प्रकाश ने बताया कि छह घंटे के प्रवास के दौरान भोजन-विश्राम, संतों व संन्यासियों के साथ लंबी वार्ता होगी. प्रस्थान के समय सत्संग हॉल में फिल्म महर्षि मेंहीं एक विचार का लुक आउट जारी करेंगे. उन्होंने बताया कि पहले उनके आने की तिथि 20 दिसंबर ही थी, लेकिन महर्षि संतसेवी महाराज की जयंती में हजारों श्रद्धालुओं के आगमन से विपरीत परिस्थिति बन सकती थी. ऐसे में यह तिथि बढ़ा कर 22 दिसंबर कर दी गयी. संतमत के अंतरराष्ट्रीय प्रवक्ता स्वामी सत्यानंद महाराज, वरिष्ठ संन्यासी अरविंद बाबा, नेपाल के रामानंद बाबा आदि पधार रहे हैं.
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सुरक्षा व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए दिन भर पहुंचते रहे पुलिस पदाधिकारी
आश्रम के अंदर व बाहर सुरक्षा व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए पुलिस पदाधिकारी लगातार आश्रम का निरीक्षण कर रहे हैं. बरारी थानाध्यक्ष सह इंस्पेक्टर मो कमाल, अन्य पुलिस पदाधिकारी दलबल के साथ पहुंचे. फिर संतमत से जुड़े कारसेवक भी आश्रम के चारों तरफ सुरक्षा व्यवस्था का जायजा लेते दिखे, ताकि 22 दिसंबर को सुरक्षा में किसी तरह की चूक नहीं हो. गंगा किनारे आश्रम के हिस्से में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर मुआयना किया गया.
फरवरी में भी भागलपुर के महर्षि मेंहीं आश्रम आए थे संघ प्रमुख
बता दें कि भागलपुर के महर्षि मेंहीं आश्रम कुप्पाघाट में इसी साल फरवरी महीने में भी मोहन भागवत आए थे. आश्रम में गुरु निवास लोकार्पण समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत आए थे. अखिल भारतीय संतमत सत्संग महासभा की ओर से उनके लिए मजबूत तैयारी की गयी थी. आश्रम में बने गौशाला में गौ पूजन भी उन्होंने किया था. उनके साथ इस कार्यक्रम में पूर्व आइपीएस अधिकारी आचार्य किशोर कुणाल भी पहुंचे थे. वहीं इस साल यह दूसरा मौका है जब संघ प्रमुख मोहन भागवत संत मेही आश्रम पहुंच रहे हैं. बता दें कि भागलपुर जिले के गंगा तट पर महर्षि मेंही आश्रम है. जहां महर्षि मेही परमहंस ने गुफा में अपने दस साल व्यतीत किए थे. इस जगह को कुप्पाघाट के नाम से जाना जाता है. बता दें कि कुप्पाघाट का मतलब ही नदी के किनारे की गुफा होता है. यहां महर्षि मेही की जयंती और गुरु पूर्णिमा पर श्रद्धालुओं की विशेष भीड़ जुटती है. कुप्पाघाट आश्रम में एक बगान है जहां रामायण कथा से जुड़ी कुछ घटनाओं को मूर्तियों के रूप में दिखाया गया है. इस आश्रम के पुनर्निर्माण और सौंदर्यीकरण की काफी कोशिश की गयी लेकिन इसका कड़ा विरोध हुआ था. गुरु स्थान से छेड़छाड़ का विरोध किया गया था. भागलपुर का महर्षि मेंही आश्रम का इतिहास काफी पुराना है. बताया जाता है कि इस आश्रम की स्थापना 1960 में की गयी थी.