संवाददाता, दुमका शहर में दुर्गास्थान मंदिर परिसर से व इस्कॉन कमेटी के द्वारा बड़ाबांध तालाब के पास से भगवान जगन्नाथ की उल्टा रथ शनिवार को धूमधाम के साथ निकाला गया. रथ पर भगवान जगन्नाथ के साथ बलराम जी और सुभद्रा भी सवार थे. भजन कीर्तन और भगवान जगन्नाथ के जयकारों के साथ रथ को मौसीबाड़ी से वापस लाया गया. रथ खींचने के लिए श्रद्धालुओं ने बारी-बारी से रस्सी पकड़ी और रथ को खींचा. रथ वीर कुंवर सिंह चौक, नीचे बाजार, टीन बाजार सहित शहर के प्रमुख मार्गों से गुजरते हुए दुर्गास्थान पहुंचा. श्रद्धालुओं ने भगवान जगन्नाथ की आराधना की, उनकी कृपा की कामना की. वहीं दुमका में इस्कॉन द्वारा शनिवार को निकाली गयी भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा बड़ाबांध परिसर से शुरू होकर विभिन्न मार्गों से होते हुए वापस राधा माधव मंदिर में पहुंची. इस दौरान श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ पड़ी, जो भक्ति भाव से हरे राधा हरे कृष्णा गाते हुए रस्सी को खींच रहे थे. भगवान जगन्नाथ, भगवान बलराम और बहन सुभद्रा की प्रतिमाएं रथ पर विराजमान थीं. भक्तों को दर्शन दे रही थीं. हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे… जय जगन्नाथ के घोष से रथ यात्रा प्रारंभ हुई. नृत्य, भजन और हरिनाम संकीर्तन करते हुए श्रद्धालुओं ने रथ को खींचा और नगर को भक्ति में डुबो दिया. भगवान जगन्नाथ, भगवान बलराम और बहन सुभद्रा गिधनी पहाड़ी रोड राज पैलेस में भक्तों के दर्शन के लिए रखे जायेंगे. यहां प्रतिदिन भक्त प्रभु के दर्शन कर सकेंगे. उल्लेखनीय है कि रथ यात्रा में शामिल होने और भगवान का रथ खींचने का महत्व बताया गया है, जिसमें कहा गया है कि इससे सभी पापों से मुक्ति मिलती है और मनोवांछित फलों की प्राप्ति होती है.
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