
मुख्य संवाददाता, रांची. राष्ट्रीय जनजाति आयोग की सदस्य डॉ आशा लकड़ा मंगलवार को आर्यभट्ट सभागार पहुंचीं. जहां उन्होंने आदिवासी संगठनों से सिरमटोली फ्लाइओवर के मसले पर विस्तार से बात की. लोगों ने बारी-बारी अपनी बात रखी. सारी बातों को सुनने के बाद डॉ लकड़ा ने कहा कि सिरमटोली फ्लाइओवर मामले को लेकर आयोग गंभीर है. सरकार से पूरी रिपोर्ट मांगी जायेगी. साथ ही फ्लाइओवर से संबंधित डीपीआर के अलावा स्टेक होल्डर की राय ली गयी है या नहीं, यह भी जानने का काम आयोग करेगा. उन्होंने कहा कि सरकार से आग्रह करेंगे कि जब तक अनुसूचित जनजाति आयोग सिरमटोली मसले को देख रहा है, तब तक वहां किसी प्रकार की गतिविधि न हो. बैठक के दौरान सिरमटोली रैंप को लेकर जो भी बातें हुई हैं, उसे आयोग शपथ पत्र के तौर पर मानेगा. उन्होंने कहा कि आदिवासी समाज को बचाना है, तो बिरसा मुंडा बनना पड़ेगा, नहीं तो उलगुलान अधूरा रह जायेगा. उन्होंने कहा कि आंदोलन हो, लेकिन संवैधानिक तरीके से. कानून को हाथ में न लें. गीताश्री उरांव ने आयोग को सौंपा ज्ञापन : बैठक के दौरान पूर्व मंत्री गीताश्री उरांव ने आयोग की सदस्य डॉ आशा लकड़ा को सिरमटोली रैंप को लेकर आदिवासी संगठनों द्वारा अबतक किये गये आंदोलन और सरकार के रवैये से संबंधित ज्ञापन सौंपा. उन्होंने आयोग को बताया कि सिरमटोली सरना स्थल को लेकर आदिवासी संगठनों ने चरणबद्ध आंदोलन किया. आदिवासी विकास विरोधी नहीं है, लेकिन आदिवासी समाज की संस्कृति पर आघात होगा, तो चुप नहीं बैठेंगे. बैठक में केंद्रीय सरना समिति के अध्यक्ष बबलू मुंडा, विद्यासागर केरकेट्टा, आरती कुजूर, फुलचंद तिर्की, बबीता कच्छप, निरंजना हेरेंज टोप्पो, अनिल कुमार भगत, राम मुंडा, सुंदर लिंडा व बाहा लिंडा ने अपनी बात रखी. इस दौरान मुख्य पाहन जगलाल पाहन, पूर्व विधायक गंगोत्री कुजूर समेत काफी संख्या मेंं आदिवासी समाज के लोग मौजूद थे. आशा लकड़ा ने रैंप व सरना स्थल का किया निरीक्षण : राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग की सदस्य डॉ आशा लकड़ा ने मंगलवार को सिरमटोली रैंप और सरना स्थल का निरीक्षण किया. निरीक्षण के बाद उन्होंने कहा कि रैंप की वजह से सरहुल की शोभायात्रा प्रभावित हुई है. पहले शोभायात्रा में शामिल खोड़हा दल नाचते-गाते सरना स्थल पर पहुंचते थे पर अब रैंप की वजह से मुख्यद्वार के पास स्थान संकुचित हो गया है. उन्होंने कहा कि केंद्र व राज्य सरकार से बात कर इसका समाधान निकालने का प्रयास कर किया जा रहा है. आयोग जब तक इस मामले में जांच करेगा. इसका उद्घाटन भी नहीं करने का आग्रह सरकार से किया जायेगा.
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