पश्चिम बंगाल में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण को लेकर राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गयी है. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को चुनौती देते हुए विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने दावा किया है कि राज्य की मतदाता सूची से बड़ी संख्या में अवैध और फर्जी नाम काटे जायेंगे. यह बयान सोमवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा बीएलओ (बूथ स्तरीय अधिकारी) को दिये गये चेतावनी संदेश के जवाब में आया है. ममता ने बीएलओ को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया था कि किसी का नाम मतदाता सूची से न छूटे और याद दिलाया था कि वे राज्य सरकार के कर्मचारी हैं.
भाजपा प्रदेश कार्यालय में संवाददाताओं से बात करते हुए शुभेंदु अधिकारी ने आरोप लगाया कि तृणमूल की कंसल्टेंसी फर्म आई-पैक ने हर विधानसभा क्षेत्र की मतदाता सूची में कई फर्जी नाम शामिल किये हैं, जो वास्तव में मतदाता हैं ही नहीं. उनका दावा है कि तृणमूल ने 2019 से 2024 तक कोई भी चुनाव असली जनमत के बजाय इन फर्जी मतदाताओं के बल पर जीता है. अधिकारी ने यह भी दावा किया कि 80 विधानसभा क्षेत्रों में वोटों में 30 प्रतिशत की असामान्य वृद्धि हुई है, जिसे वह विशेष गहन पुनरीक्षण से उजागर होने की उम्मीद कर रहे हैं.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा दिल्ली पुलिस पर बच्चे को प्रताड़ित करने के आरोपों पर पलटवार करते हुए अधिकारी ने कहा कि ममता पुलिस अत्याचार की झूठी कहानी गढ़कर अफवाहें फैला रही हैं. उन्होंने कहा कि वह दिल्ली पुलिस से ममता के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने का अनुरोध कर रहे हैं. शुभेंदु अधिकारी ने यह भी बताया कि उन्होंने अपने भाई और कांथी से सांसद सौमेंदु अधिकारी को फोन किया है और वह दिल्ली में ममता बनर्जी के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज करायेंगे.
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