क्या है पूरा मामला
घटना को लेकर मृतक दिलीप माहरा की पत्नी छवि माहरा का आरोप है कि वह सारेंडा ग्राम के 224 नंबर वार्ड से भाजपा की प्रार्थी के रूप में पंचायत चुनाव में खड़ी है. चुनाव में खड़े होने के बाद से तृणमूल के स्थानीय नेताओं, कार्यकर्ताओं द्वारा उन पर लगातार नामांकन वापसी को लेकर दबाव पड़ रहा था लेकिन पार्टी के निर्देश के बाद वह लोग अपना नामांकन पत्र वापस नहीं लिए. कल रात में झंडा लगाने को लेकर इलाके में मेरे पति के साथ तृणमूल की झड़प हुई थी. आज सुबह उनका शव सड़क के किनारे मिला है. घटनास्थल पर ही गोली का खोखा पड़ा हुआ था. थाना के सेकेंड ऑफिसर मौके वारदात पर आए और उक्त गोली के खोल को उठाकर पॉकेट में भर लिया था लेकिन ग्रामीणों के दबाव के कारण फिर गोली के खोल को वहीं छोड़ दिया गया. इस घटना के प्रतिवाद में इलाके में उत्तेजना व तनाव की स्थिति बनी हुई है. पुलिस घटनास्थल पर पहुंचकर स्थिति को नियंत्रित करने की कोशिश कर रही है.
तृणमूल के नेता काली बनर्जी के इशारे पर ही की हत्या
भाजपा नेता पिनाकी मंडल का आरोप है कि स्थानीय तृणमूल के नेता काली बनर्जी के इशारे पर ही दिलीप माहरा की हत्या की गई है. मृतक दिलीप माहरा के पुत्र उत्पल का आरोप है कि कल रात में पिताजी दस बजे तक घर नहीं पहुंचे थे. तो हम लोग उनकी तलाश में जगह-जगह खोज खबर लेने लगे, लेकिन उनका कुछ पता नहीं चला. आज सुबह उनका शव गांव के पास ही सड़क के किनारे पड़ा हुआ मिला. घटनास्थल से एक गोली का खोल भी पड़ा हुआ था. मेरे पिता की गोली से हमला करने के बाद गला घोटकर हत्या की गई है. यह स्पष्ट नहीं है.
सीबीआई जांच की मांग
पुलिस मामले में सबूत को इधर-उधर करना चाह रही है. हम लोगों ने सीबीआई जांच की मांग की है. बताया जाता है कि शव को रखकर भाजपा के कार्यकर्ता, समर्थक और ग्रामीण घोर प्रतिवाद जता रहे हैं. पुलिस का कहना है कि अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि उक्त हत्या गोली मारकर की गई है अथवा अन्य किसी कारण से की गई है. पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही स्पष्ट रूप से कुछ कहा जा सकता है.
घटना में तृणमूल का कोई हाथ नहीं : नेता काली बनर्जी
घटना को लेकर तृणमूल के नेता काली बनर्जी का कहना है की इस घटना में तृणमूल का कोई हाथ नहीं है. संभवत: दिलीप माहरा की पारिवारिक अशांति के कारण ही हत्या हुई है.