बिक जाते हैं सीबीआई के कुछ अधिकारी
वरिष्ठ भाजपा नेता ने कहा कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने खुद को सबसे भरोसेमंद एजेंसी साबित किया है. उन्होंने आरोप लगाया कि तृणमूल कांग्रेस के नेताओं की सीबीआई से सेटिंग हो गयी थी. इसका अहसास होने के बाद ईडी को केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने भेजा है. श्री घोष ने कहा कि केंद्र सरकार के सूत्रों के जरिये उन्हें इसकी जानकारी मिली है. आइसीसीआर में आयोजित कार्यक्रम में श्री घोष ने कहा कि सीबीआई का कोई-कोई अधिकारी बिक जाता है. कोई लाखों में, तो कोई करोड़ों में.
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सीबीआई की तरह ईडी से सेटिंग नहीं कर पा रही तृणमूल
श्री घोष ने दावा किया कि बंगाल में विभिन्न मामलों की जांच में जुटी सीबीआई में ऐसा पाये जाने के बाद केंद्र सरकार ने ईडी को तत्पर होने का निर्देश दिया. उन्होंने यह भी दावा किया कि सीबीआई के अधिकारियों की तरह ईडी के अधिकारियों के साथ ‘सेटिंग’ न कर पाने की वजह से तृणमूल के कई नेता आतंकित हैं. गौरतलब है कि शिक्षक नियुक्ति से लेकर कोयला व मवेशी तस्करी की जांच कर रही सीबीआई या ईडी की सक्रियता से हमेशा ही प्रदेश भाजपा ने खुद को अलग रखा है.
असहज स्थिति में आ सकती है बंगाल भाजपा
यह पूछे जाने पर कि प्रदेश भाजपा का यही बयान रहता है कि अदालत के निर्देश पर जांच हो रही है और दोनों ही जांच एजेंसियां स्वतंत्र हैं, इस पर किसी का नियंत्रण नहीं रहता. जानकारों के मुताबिक, दिलीप घोष के बयान से प्रदेश भाजपा असहज स्थिति में आ जायेगी. उधर, श्री घोष के बयान पर तृणमूल कांग्रेस प्रवक्ता कुणाल घोष ने कहा कि दिलीप घोष क्या भाजपा शासित केंद्र सरकार पर उंगली उठा रहे हैं.
तृणमूल नेता कुणाल घोष ने पूछे ये सवाल
कुणाल घोष ने कहा कि सीबीआई केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के अधीन है. उस सीबीआई पर सवाल उठाकर वह क्या अपनी ही पार्टी को आड़े हाथ ले रहे हैं? दिलीप घोष क्या हकीकत में शुभेंदु अधिकारी पर निशाना साध रहे हैं? कहीं पे निगाहें कहीं पे निशाना है. क्या वह चाहते हैं शुभेंदु अधिकारी को गिरफ्तार किया जाये? वह क्या समझाना चाह रहे हैं कि शुभेंदु अधिकारी को जांच के दायरे से बाहर रखा गया?’