पश्चिम बंगाल में चल रहे विधानसभा सत्र से भाजपा विधायकों ने काला कपड़ा दिखाते हुए वाॅकआउट किया है. भाजपा के वाॅकआउट के पीछे कारण है मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी पर कटाक्ष करना. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि ‘क्या आप नंदीग्राम की घटना भूल गए हैं ? दो घंटे तक लाइटें बंद करके नंदीग्राम में क्या हुआ था ?. विधानसभा चुनाव के दौरान आपने जो किया वह कितना सही था. आपके पास इसका जवाब है. गौरतलब है कि मुख्यमंत्री ने गुरुवार को विधानसभा में 2 मई 2021 के बारे में बात की. जिसके बाद भाजपा विधायक भड़क उठे.
भाजपा ने राज्य के पंचायत चुनाव में हिंसा का आरोप लगाते हुए विधानसभा में चर्चा की मांग रखी थी. स्पीकर बिमान बनर्जी इस पर सहमती जताते हुए विधानसभा में चर्चा शुरू किया था.मुख्यमंत्री के सामने सुभेंदु ने अपनी बात रखी. शुभेंदु ने कहा कि पंचायत चुनाव के दौरान सत्ताधारी दल की भूमिका की निंदा की. उन्होंने कहा, मतदाता ने इस बार क्या किया है इसका हिसाब अगले साल ब्याज के साथ वापस किया जाएगा.
भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि मुख्यमंत्री संविधान का पालन किए बिना ऐसी बातें कहती हैं. पहली बार विधानसभा में कोई सर्वदलीय बैठक नहीं हुई. इस स्थिति का मतलब केवल विधायिका ही नहीं बल्कि न्यायपालिका भी है. भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि भाजपा विधायकों को राज्य में महिला हिंसा पर बात करने का अधिकार नहीं है.
भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि भाजपा का काम समाज को जोड़ कर रखना है, इनका(TMC) काम विभाजन करना है . वे किसी को बोलते हैं आप सनातनी नहीं है, कुर्मी को बोलते हैं कि आपको ST का स्टेटस दे रहे हैं, ST को बोलते हैं कि कुर्मी आपके खिलाफ हैं. ममता बनर्जी समाज को विभाजित करने की राजनीति करती हैं और भाजपा समाज को जोड़ने के काम करती है.
#WATCH भाजपा का काम समाज को जोड़ कर रखना है, इनका(TMC) काम विभाजन करना है। वे(TMC) किसी को बोलते हैं आप सनातनी नहीं है, कुर्मी को बोलते हैं कि आपको ST का स्टेटस दे रहे हैं, ST को बोलते हैं कि कुर्मी आपके खिलाफ हैं…ममता बनर्जी समाज को विभाजित करने की राजनीति करती हैं और भाजपा… pic.twitter.com/z3PnvglIXq
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 27, 2023
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के शुभेंदु अधिकारी पर कटाक्ष करते हुए कहा कि नंदीग्राम की घटना भूल गये क्या. जिसके बाद से भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी के नेतृत्व में भाजपा विधायकों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया. स्पीकर द्वारा सभी को बैठने के लिए कहने के बावजूद विरोध जारी रहा.उधर इन सब हंगामे के बीच मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का भाषण जारी रहा. उन्होंने कहा, ”जो चर्चा है, वही मैं कह रहा हूं. मुझे भी बोलने का अधिकार है.
पिछले विधानसभा चुनाव में ममता नंदीग्राम में शुभेंदु से 1956 वोटों से हार गई थीं. बाद में ममता ने भवानीपुर से उपचुनाव जीत लिया, लेकिन फिर भी तृणमूल नंदीग्राम में हार गई. शुभेंदु ने ममता को ‘कम्पार्टमेंटल मुख्यमंत्री’ कहा. उधर, नंदीग्राम में शुभेंदु की जीत के पीछे तृणमूल ने काउंटिंग में धांधली का आरोप लगाया है. उस वक्त काउंटिंग सेंटर की लाइटें बंद कर दी गई थीं, तृणमूल ने यह भी आरोप लगाया था कि दो घंटे के दौरान काफी धांधली हुई है. इसे लेकर तृणमूल कोर्ट चली गयी. जिसका अभी तक समाधान नहीं हो सका है. इस पर तृणमूल ने बार-बार शुभेंदु को घेरा है, लेकिन यह पहली बार है कि मामला विधानसभा में उठा है और ये बात खुद मुख्यमंत्री ममता ने उठाई.
बुधवार को भी भाजपा विधायकों ने विधानसभा में अग्निमित्रा पॉल के नेतृत्व में सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन भी किया था . भाजपा विधायकों का कहना है कि बंगाल में महिलाओं पर लगातार हिंसा हो रही है लेकिन मुख्यमंत्री चुप क्यों बैठी है. भाजपा नेता व विधायक अग्निमित्रा पाल ने कहा कि अगर मणिपुर हिंसा पर बात हो सकती है तो मालदा में महिलाओं के साथ हुई हिंसा पर बात क्यों नहीं हो सकती है. हम मणिपुर हिंसा पर भी चर्चा करने के लिये तैयार है लेकिन बंगाल में महिला हिंसा पर बात करने के लिये कोई तैयार नहीं है. भाजपा विधायक अग्निमित्रा पॉल का कहना था कि हमने विधानसभा में दो आदिवासी महिला को मालदा में पीटे जाने और महिलाओं के अन्य मुद्दों को लेकर चर्चा की मांग की लेकिन हमें इसकी इजाजत नहीं मिली. जिसे लेकर हमने विरोध प्रदर्शन किया था. हम मणिपुर की घटना को भी गलत ठहरा रहें हैं लेकिन पश्चिम बंगाल की बेटियों की भी बात की जाए़. बंगाल में भी महिलाएं सुरक्षित नहीं है इस पर भी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को ध्यान देने की जरुरत है
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