PhonePe, Google Pay, Paytm UPI आईडी 31 दिसंबर से हो जाएंगी बंद, वजह जान लीजिए

Npci Notice To Phone Pe Google Pay Paytm To Block Inactive Upi - नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया की ओर से गूगल पे, पेटीएम और फोन पे को सर्कुलर जारी किया गया है. इसमें थर्ड पार्टी ऐप्स जैसे गूगल पे, फोन पे और पेटीएम को वैसे यूपीआई आईडी को 31 दिसंबर 2023 से बंद करने का निर्देश दिया गया है, जो...

By Rajeev Kumar | November 20, 2023 12:18 PM
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NPCI Notice To Phone Pe Google Pay Paytm To Block Inactive UPI Id : आनेवाले दिनों में गूगल पे, फोन पे और पेटीएम यूजर्स को यूपीआई आधारित ट्राजैक्शन करने में मुश्किल हो सकती है. इसकी वजह यह है कई यूजर्स की यूपीआई आईडी को 31 दिसंबर से बंद किया जा सकता है.

नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया यानी एनपीसीई (NPCI) की ओर से गूगल पे, पेटीएम और फोन पे को सर्कुलर जारी किया गया है. इसमें एनपीसीआई की तरफ से थर्ड पार्टी ऐप्स जैसे गूगल पे, फोन पे और पेटीएम को वैसे यूपीआई आईडी को 31 दिसंबर 2023 से बंद करने का निर्देश दिया गया है, जो एक साल से एक्टिव नहीं हैं.

आसान भाषा में कहें तो इसका मतलब यह हुआ कि अगर आपने एक साल से अपनी किसी यूपीआई आईडी से लेनदेन नहीं किया है, तो उसे 31 दिसंबर 2023 के बाद बंद कर दिया जाएगा. एनपीसीआई ने गूगल पे, फोन पे और पेटीएम जैसे थर्ड पार्टी ऐप्स को यह निर्देश सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर दिया है.

एनपीसीआई यानी नेशनल पेमेंट्स कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया, भारत का रिटेल पेमेंट और सेटलमेंट सिस्टम है. फोनपे, गूगल पे और पेटीएम जैसे ऐप्स इसी के दिशा-निर्देशों पर काम करते हैं. साथ ही किसी तरह के विवाद की स्थिति में भी एनपीसीआई मध्यस्थता की जिम्मेवारी निभाता है. यह एक नॉन प्रॉफिट ऑर्गनाइजेशन है.

एनपीसीआई का सर्कुलर कहता है कि 1 साल से इस्तेमाल नहीं की जाने वाली यूपीआई आईडी को बंद करने की वजह यूजर सिक्योरिटी है. असल में होता यह है कि कई बार यूजर्स बिना अपने पुराने नंबर को डीलिंक करके नयी आईडी बना लेते हैं, जो फ्रॉड की वजह बन सकती है. ऐसे में एनपीसीआई की तरफ से पुरानी आईडी को बंद करने का निर्देश दिया गया है.

संभव है कि आपका पुराना नंबर किसी नये यूजर को इश्यू कर दिया जाए. जैसा सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा, तो उस स्थिति में फ्रॉड की संभावना बनती है. ऐसी ही वजहों से पुरानी आईडी को बंद करने का निर्णय लिया गया है.

सुप्रीम कोर्ट ने अपने हालिया निर्णय में कहा है कि टेलीकॉम सर्विस प्रोवाइडर कंपनियां 90 दिनों से डिएक्टिवेटेड नंबर को बंद कर किसी दूसरे को ट्रांसफर कर सकती हैं. अगर आपकी यूपीआई आईडी पिछले एक साल से एक्टिवेटेड है. मतलब उस यूपीआई आईडी से लेनदेन कर रहे हैं, तो आपको टेंशन लेने की जरूरत नहीं है.

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