Career Tips:अक्सर देखा जाता है कि 12वीं में साइंस लेने के बाद लोगों से यह सवाल किया जाता है कि वे डॉक्टर बनना चाहते हैं या नहीं, और ऐसा माना जाता है कि डॉक्टर बनकर ही अच्छी कमाई की जा सकती है. लेकिन यह सच नहीं है. अगर आपकी डॉक्टर बनने में रुचि नहीं है, तो 12वीं के बाद साइंस स्ट्रीम से कई ऐसे कोर्स कर सकते हैं, जिनसे आपको बेहतर करियर के साथ-साथ अच्छी नौकरी और सैलरी भी मिल सकती है. आज हम आपको 5 ऐसे कोर्स के बारे में बताएंगे, जिन्हें करके आप अपने भविष्य को सुरक्षित बना सकते हैं.
साइंस से 12 वीं के बाद इन पांच कोर्सेस में बनाए करियर
12वीं में साइंस की पढ़ाई करने के बाद आप इन पांच कोर्स में अपना करियर बना सकते हैं, जिससे आपकी सैलरी और नौकरी, दोनों शानदार हो सकती हैं. आइए, इन कोर्स की सूची पर एक नजर डालते हैं.
BSC: बीएससी
12वीं साइंस से करने के बाद आप यूजी स्तर पर बैचलर ऑफ साइंस (B.Sc) की डिग्री हासिल कर सकते हैं. इस कोर्स को पूरा करने में 3 से 4 साल का समय लगता है, जिसमें छात्रों को विज्ञान से जुड़े विभिन्न क्षेत्रों जैसे आईटी, हेल्थकेयर, गणित, कृषि आदि के लिए तैयार किया जाता है. इस कोर्स में प्रवेश के लिए छात्रों को साइंस स्ट्रीम में PCM/PCB (भौतिकी, रसायन विज्ञान, गणित और जीवविज्ञान) के साथ किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से 12वीं पास होना अनिवार्य है.बीएससी में प्रवेश मेरिट और प्रवेश परीक्षा दोनों के आधार पर होता है. प्रवेश परीक्षा में CUET, ICAR AIEEA, CC PAT आदि शामिल हैं.
B.Tech: बीटेक
बैचलर ऑफ टेक्नोलॉजी (B.Tech) करने के लिए छात्रों को 4 साल की पढ़ाई करनी होती है. यह कोर्स कंप्यूटर और प्रौद्योगिकी से संबंधित एक क्षेत्र है, जो छात्रों को प्रोग्रामिंग और कंप्यूटर सॉफ्टवेयर की समझ प्रदान करता है. बीटेक से जुड़े विभिन्न पाठ्यक्रमों में बीटेक मैकेनिकल इंजीनियरिंग, बीटेक सिविल इंजीनियरिंग, बीटेक कंप्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग (CSE) आदि शामिल हैं.बीटेक की पढ़ाई के लिए छात्रों को साइंस स्ट्रीम से 12वीं में भौतिकी, रसायन विज्ञान और गणित/जीव विज्ञान विषयों में कम से कम 50% से 60% अंक प्राप्त करना अनिवार्य है। भारत में 4,700 से अधिक विश्वविद्यालय हैं, जो बीटेक की डिग्री प्रदान करते हैं। इन कॉलेजों में प्रवेश के लिए प्रवेश परीक्षाएं होती हैं, जिनमें जेईई मेन और जेईई एडवांस शामिल हैं. भारत में बीटेक की औसत वेतन 4 लाख से 8 लाख प्रति वर्ष के बीच है .
B. Arch: बीआर्क
बैचलर ऑफ आर्किटेक्चर (B.Arch) की पढ़ाई के लिए छात्रों को 5 साल का कोर्स करना होता है, जो उन्हें संरचनाओं को डिजाइन और निर्माण करने तथा वास्तुकला की बारीकियों को सीखने का अवसर प्रदान करता है. इस कोर्स में आर्किटेक्चरल डिजाइन, बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन, स्ट्रक्चरल इंजीनियरिंग, पर्यावरण प्रणाली और शहरी नियोजन सहित कई विषय शामिल होते हैं. इस कोर्स में वे छात्र आवेदन कर सकते हैं, जिन्होंने साइंस स्ट्रीम से (भौतिकी, रसायन विज्ञान और गणित) में 12वीं पास की हो. साथ ही, इस कोर्स में प्रवेश के लिए जेईई मेन, एनएटीए, सीयूसीईटी और एएटी जैसी प्रवेश परीक्षाएं शामिल हैं, जिनके माध्यम से छात्र बी.आर्क में प्रवेश ले सकते हैं.
BCA: बीसीए
बैचलर ऑफ कंप्यूटर एप्लीकेशन (BCA) करने के लिए विद्यार्थियों को 12वीं के बाद 3 साल की पढ़ाई करनी होती है. यह कोर्स मुख्य रूप से कंप्यूटर एप्लीकेशन और सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट पर आधारित है. यह उन विद्यार्थियों के लिए बेहतर विकल्प है, जो आईटी (सूचना और प्रौद्योगिकी) क्षेत्र में अपना करियर बनाना चाहते हैं. इसमें आवेदन के लिए विद्यार्थियों को किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से न्यूनतम 50% अंकों के साथ 12वीं उत्तीर्ण करनी होती है. इसके अलावा, प्रवेश के लिए विद्यार्थियों को CUET और IPU CET जैसी प्रवेश परीक्षाएं देनी होती हैं.
BE: बीई
बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग (B.E.) करने के लिए विद्यार्थियों को 12वीं के बाद 4 साल का अंडरग्रेजुएट कोर्स करना होता है. जिन विद्यार्थियों को बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग करनी है, उन्हें किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से भौतिकी, रसायन विज्ञान, गणित या जीव विज्ञान जैसे विषयों के साथ 12वीं उत्तीर्ण करनी होगी. इसमें आवेदन के लिए विद्यार्थियों को जेईई मेन, जेईई एडवांस्ड, केईएएम जैसी प्रवेश परीक्षाएं देनी होती हैं.
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