सोनिया-राहुल की प्रो-पुअर पॉलिटिक्स में अब कितना दम?

।।पंकज कुमार पाठक।।... नयी दिल्लीः कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी एक बार फिर अपने वोट बैंक को समटने की कोशिश में जुटे हुए हैं. वे अघोषित तौर पर पार्टी की कमान, उसके सबसे बुरे दौर में संभाल रहे हैं. राहुल के आलोचक कांग्रेस की मौजूदा दशा के लिए प्रमुख रूप से उन्हें ही दोषी मानते हैं. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 28, 2014 5:14 PM
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।।पंकज कुमार पाठक।।

नयी दिल्लीः कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी एक बार फिर अपने वोट बैंक को समटने की कोशिश में जुटे हुए हैं. वे अघोषित तौर पर पार्टी की कमान, उसके सबसे बुरे दौर में संभाल रहे हैं. राहुल के आलोचक कांग्रेस की मौजूदा दशा के लिए प्रमुख रूप से उन्हें ही दोषी मानते हैं. जबकि उनके प्रशंसक इसका दोष राहुल को नहीं देते बल्कि भाजपा के आक्रामक प्रचार के तरीके को मानते हैं. राहुल के प्रशंसक यह भी कहते हैं कि भाजपा और मोदी की प्रचार शैली से जनता भ्रमित हो गयी है. राहुल गांधी और उनकी मां सोनिया गांधी गरीब केंद्रित राजनीति के लिए जाने जाते हैं.

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