दरअसल, पर्रिकर ने शनिवार को आमिर खान के देश छोड़ने वाले असहिष्णुता के बयान को अहंकार से भरा बयान बताया था. कांग्रेसी नेतासुरजेवाला ने कहा कि मनोहर पर्रिकरकेबयान सेयह साबित होता है कि दलितों और अल्पसंख्यकों को दबाने की साजिश हो रही है. क्या ये ‘राज धर्म’ हो सकता है?
पर्रिकर ने पुणे में सियाचिन पर मराठी पत्रकार-लेखकर नितिन गोखले की पुस्तक का विमोचन के कार्यक्रम में कहा था, एक अभिनेता ने कहा है कि उनकी पत्नी भारत से बाहर जाना चाहती है. यह दंभपूर्ण बयान है. यदि मैं गरीब हूं और मेरा घर छोटा है तो मैं तब भी अपने घर से प्यार करूंगा और हमेशा उसे बंगला बनाने का सपना देखूंगा.’
वहीं, जेएनयू में देशविरोधी नारेबाजी की कथित घटना का परोक्ष रूप से जिक्र करते हुए पर्रिकर ने कहा था, कैसे कुछ लोगों को देश के विरोध में बोलने का साहस हो जाता है. ऐसे लोग, जो लोग देश के खिलाफ बोलते हैं, उन्हें इस देश के लोगों द्वारा पाठ पढ़ाने की जरूरत है.’