दिग्विजय ने फोड़ा ट्विटर बम, सुनील जोशी हत्याकांड पर वेंकैया नायडू से पूछे ये सवाल…!

नयी दिल्ली : कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने शुक्रवार को भाजपा के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय मंत्री वेंकैया नायडू से सुनील जोशी की हत्या प्रकरण को लेकर अदालत के फैसले आने से पहले ही सवाल पूछे हैं. माइक्रोब्लॉगिंग साइट ट्विटर पर किये गये अपने ट्वीट में उन्होंने कहा है कि देखते हैं सुनील […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 10, 2017 9:16 AM
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नयी दिल्ली : कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने शुक्रवार को भाजपा के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय मंत्री वेंकैया नायडू से सुनील जोशी की हत्या प्रकरण को लेकर अदालत के फैसले आने से पहले ही सवाल पूछे हैं. माइक्रोब्लॉगिंग साइट ट्विटर पर किये गये अपने ट्वीट में उन्होंने कहा है कि देखते हैं सुनील जोश की हत्या के प्रकरण में जिसमें संघ के कार्यकर्ता भी शामिल हैं, अदालत क्या फैसला लेती है. साध्वी प्रज्ञा को तो बचा लिया.

अपने अगले टवीट में दिग्विजय सिंह ने लिखा है कि हां, कहेगी ‘इनका संघ और भाजपा से कोई संबंध नहीं है’, क्योंकि संघ के कार्यकर्ता का कोई रिकॉर्ड नहीं होता. वेंकैया जी कुछ कहना चाहेंगे? उन्होंने अपने टवीट में लिखा है कि फिर भी अदालत ने संघ के प्रचारक सुनील जोशी, देवेंद्र गुप्ता और भावेश पटेल को तो दोषी मानाहै. क्या संघ और भाजपा कुछ कहना चाहेगी?

सुनील जोशी हत्या के मामले में ट्विटर पर किये गये ट्वीट में सिंह ने कहा है कि मोदी जी ने गुजरात के मुमं के रूप में स्वामी असीमानंद के संगठन को कितना अनुदान दिया है, क्या कोई आरटीआई ले सकता है? पता पड़ जायेगा. उन्होंने पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए अपने अगले ट्वीट में लिखा है कि नहीं करेंगे, क्योंकि मोदी जी स्वामी असीमानंद को बचाना चाहते हैं. जब Prosecution ही Defence में शामिल हो जायेगा, तो आरोपी तो बरी होगा ही.

स्वामी असीमानंद के मसले पर कांग्रेसी नेता सिंह ट्वीट करते हैं कि स्वामी असीमानंद के अदालत में शपथ पर दिये गये बयान के बाद भी अदालत ने बरी कर दिया. एनआईए को तत्काल अपील करना चाहिए. उन्होंने लिखा कि मैं 2002 से कह रहा था संघ के लोग बम बनाने की ट्रेनिंग देते हैं और अजमेर ब्लास्ट में संघ के लोग शामिल हैं. उन्होंने ट्विटर पर लिखा है कि अजमेर ब्लास्ट संघ प्रचारक आरोपी, भोपाल ट्रेन ब्लास्ट में आईएसआईएस के आरोपी, अमेरिका की अदालत खालिस्तान आतंकी साजिद. आतंक के विभिन्न रंग. कल तीन अदालत, तीन अलग-अलग समूह, तीनों का मकसद एक.

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