Maharashtra: मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह (Param Bir Singh) के ‘लेटर बम’ के जरिए अपने उपर लगे आरोपो पर महाराष्ट्र के गृह मंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) ने मंगलवार को एक बयान जारी किया है. अनिल देशमुख ने मंगलवार को ट्वीटर पर एक वीडियो जारी किया है, जिसपर वह अपने उपर लगे आरोपो पर सफाई देते नजर आ रहे हैं. अनिल देशमुख ने कहा कि पिछले कुछ दिनों से मीडिया में झूठी खबरें फैलाई जा रही है. 5 फरवरी को कोरोना पॉजिटिव होने के बाद मुझे 5-15 फरवरी से अस्पताल में भर्ती कराया गया था.
अनिल देशमुख ने आगे कहा कि 15 फरवरी को छुट्टी मिली थी और 10 दिनों के बाद में घर से बाहर आया था, इसलिए 15 फरवरी को मैं निजी विमान से मुंबई आया था. उन्होंने कहा कि ट्रैवल करने के लिए उन्होंने हॉस्पिटल से लेटर भी लिया था. उस लेटर में लिखा था कि अनिल देशमुख विमान यात्रा के लिए फिट हैं. अनिल देशमुख ने आगे कहा कि मैंने आधिकारिक कार्य के लिए पहली बार 28 फरवरी को अपने घर से बाहर कदम रखा. मैं यह सब इसलिए साझा कर रहा हूं ताकि लोग गुमराह न हों.
Also Read: मुंबई पुलिस के पूर्व आयुक्त परमबीर सिंह ने महाराष्ट्र सरकार के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट दायर की याचिका, सफाई में पहली बार दी प्रतिक्रिया
शरद पवार ने किया था ये दावा
बता दें कि शरद पवार ने कुछ दिनों पहले कहा था कि गृहमंत्री अनिल देशमुख कोरोना की वजह से अस्पताल में भर्ती थे. 15 फरवरी को उन्हें डिस्चार्ज किया गया था.15 से 27 फरवरी तक अनिल देशमुख नागपुर में क्वारंटाइन थे. जबकि आज अनिल देशमुख ने कहा कि वह 15 फरवरी को मुंबई गये थें. दोनों लोगों के बयानों में भिन्नता नजर आ रही है. जिससे फिर से सवाल खड़े हो सकते हैं.
परमबीर सिंह की चिट्ठी क्या है पूरा मामला
एंटीलिया के बाहर स्कॉर्पियो में जिलेटिन की छड़ों की बरामदगी के बाद महाराष्ट्र में मचा सियासी बवाल अब नया मोड़ ले लिया है. जांच के घेरे में अब महाराष्ट्र के गृहमंत्री अनिल देशमुख फंसते नजर आ रहे हैं. पारदर्शी जांच का हवाला देकर हटाये गये मुंबई पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह ने मुख्यमंत्री के नाम एक चिट्ठी लिखी है, जिसमें गृहमंत्री अनिल देशमुख पर कई गंभीर आरोप लगाये गये हैं.