समय से पहले पहुंचा मानसून
इस बार मानसून ने महाराष्ट्र में समय से पहले दस्तक दी. आमतौर पर मानसून राज्य में 7 जून के आसपास आता है, लेकिन इस वर्ष यह 25 मई को ही पहुंच गया, जिससे राज्य के कई हिस्सों में चार से पांच दिनों तक जोरदार बारिश हुई. इस शुरुआती बारिश ने खेतों में नमी पहुंचा दी, हालांकि बुवाई से पहले की तैयारियों में थोड़ी देरी भी हुई.
बारिश ने दी खेती को रफ्तार
बीच में बारिश कुछ दिनों के लिए रुकी थी, जिससे किसानों को खेत तैयार करने का समय मिला. अब एक बार फिर बारिश की वापसी से खेतों में बुवाई का कार्य तेज़ी पकड़ सकता है. लगातार हो रही बारिश ने नदियों और नालों का जलस्तर बढ़ा दिया है, जिससे कुछ क्षेत्रों में बाढ़ जैसे हालात बनने लगे हैं.
मुंबई और पश्चिमी महाराष्ट्र में असर
राजधानी मुंबई में दिनभर बादल छाए रहे और शाम को कई इलाकों में तेज़ बारिश दर्ज की गई. इससे वातावरण में ठंडक बढ़ी और लोगों को गर्मी से राहत मिली. वहीं सांगली, कोल्हापुर, सतारा जैसे पश्चिमी महाराष्ट्र के जिलों में पिछले दो दिनों से रुक-रुक कर तेज़ बारिश हो रही है.
सावधानी बरतने की अपील
मौसम विभाग ने नागरिकों से अपील की है कि वे सतर्क रहें और अनावश्यक यात्रा से बचें. खासतौर पर नदी किनारे बसे इलाकों में रहने वाले लोगों को बाढ़ की संभावना के चलते अतिरिक्त सावधानी बरतने की सलाह दी गई है.