Niti Aayog Meeting : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी शनिवार को नयी दिल्ली में आयोजित नीति आयोग की शासी परिषद की बैठक में शामिल नहीं हुईं. राज्य सचिवालय के सूत्रों के हवाले से यह खबर सामने आई है. सूत्रों ने बताया कि बनर्जी की अनुपस्थिति का कारण अभी तक स्पष्ट नहीं है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि वैश्विक निवेशकों की भारत में रुचि है और राज्यों को नीतिगत बाधाओं को दूर करके निवेश आकर्षित करने के लिए इस अवसर का उपयोग करना चाहिए. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि यदि केंद्र सरकार और राज्य मिलकर ‘टीम इंडिया’ की तरह काम करें तो कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं है.
यह पूरी तरह से राज्य सरकार का मामला : कुणाल घोष
‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद यह प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्रियों के बीच पहली बातचीत थी. शनिवार शाम तक इस बात की कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई थी कि बैठक में पश्चिम बंगाल सरकार का प्रतिनिधित्व था या नहीं. पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के प्रवक्ता कुणाल घोष ने बैठक में राज्य की भागीदारी पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया. उन्होंने कहा, ‘‘यह पूरी तरह से राज्य सरकार का मामला है. हम इस पर कोई टिप्पणी नहीं करेंगे. मुख्यमंत्री या राज्य सरकार जब इस पर बयान जारी करना चाहेंगे, तब वे जारी करेंगे.’’
बंगाल को राशि क्यों जारी नहीं कर रहे हैं?
कुणाल घोष ने पार्टी नेता शशि पांजा के साथ मिलकर राज्य को कथित रूप से देय धनराशि रोके रखने के लिए केंद्र सरकार की तीखी आलोचना की. घोष ने प्रधानमंत्री के आह्वान पर कहा, ‘‘उन्हें हाथ से हाथ मिलाकर काम करने की बात नहीं करनी चाहिए. अगर ऐसा है, तो वे बंगाल सरकार को लंबे समय से देय राशि क्यों जारी नहीं कर रहे हैं? आप कर के रूप में बंगाल से धन ले रहे हैं और राज्य को उसका हक नहीं दे रहे हैं.’’
राज्य की जनता को नुकसान हुआ : बीजेपी
नीति आयोग की बैठक में ममता बनर्जी के शामिल न होने पर बीजेपी ने उनकी आलोचना की है. बीजेपी के राज्यसभा सांसद समिक भट्टाचार्य ने इसे पश्चिम बंगाल के लोगों के लिए दुर्भाग्यपूर्ण बताया. उन्होंने कहा कि जब देश के कई मुख्यमंत्री बैठक में मौजूद थे, तब ममता बनर्जी का बैठक में शामिल नहीं होना राज्य के हितों की अनदेखी है. भट्टाचार्य के अनुसार, मुख्यमंत्री की गैरमौजूदगी के कारण राज्य सरकार कई अहम मुद्दे उठाने का मौका चूक गई, जो बंगाल के विकास और जरूरतों से जुड़े थे. इससे राज्य की जनता को नुकसान हुआ है.