नयी दिल्ली : कोरोना संक्रमण के इस दौर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हमेशा खुद को अलर्ट पर रखे हैं. लगातार लोगों से संपर्क में रहते हैं. उन्होंने इस दौरान कई बार देश को संबोधित किया, तो वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर राज्यों की स्थिति का भी जायजा लिया.
कोरोना संकट के साथ-साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अब चक्रवाती तूफान अम्फान को लेकर भी अलर्ट पर आ गये हैं. उन्होंने आज एक उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता की जिसमें बंगाल की खाड़ी में उत्पन्न हो रहे चक्रवात ‘अम्फान’ को देखते हुए तैयारियों का जायजा लिया.
प्रधानमंत्री कार्यालय की तरफ से जारी बयान में बताया गया कि प्रधानमंत्री ने स्थिति की समीक्षा की और राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल द्वारा उठाए गए कदमों और लोगों को सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाने के बारे में जानकारी ली.
प्रतिक्रिया योजना पर प्रस्तुतीकरण के दौरान एनडीआरएफ के महानिदेशक ने सूचित किया कि एनडीआरएफ की 25 टीमों को तैनात किया गया है जबकि 12 अन्य को तैयार रखा गया है.
बयान में बताया गया कि बल के प्रमुख ने बैठक में जानकारी दी कि देश के अन्य हिस्सों में एनडीआरएफ की 24 अन्य टीम को तैयार रखा गया है. आईएमडी ने बताया कि चक्रवात अम्फान ने सोमवार को महाचक्रवात का रूप धारण कर लिया और यह उत्तरपूर्वी बंगाल की खाड़ी की तरफ रूख कर सकता है और 20 मई को पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश में दीघा और हटिया द्वीप के बीच तटों से गुजर सकता है.
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गौरतलब है कि चक्रवात ‘अम्फान’ सोमवार को प्रचंड चक्रवाती तूफान में तब्दील हो गया है और वह उत्तरपूर्व बंगाल की खाड़ी की तरफ बढ़ सकता है तथा 20 मई को पश्चिम बंगाल के दीघा और बांग्लादेश के हटिया द्वीप के बीच तटों से टकरा सकता है.
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कहा है कि भीषण चक्रवाती तूफान का रूप ले चुका अम्फान बंगाल की खाड़ी के ऊपर और शक्तिशाली होकर धीरे-धीरे तट की तरफ बढ़ रहा है. यह अब प्रचंड चक्रवाती तूफान का रूप ले चुका है.
विभाग ने कहा कि यह उत्तर-उत्तरपूर्व की तरफ बढ़ेगा और तेजी से उत्तरपश्चिम बंगाल की खाड़ी पहुंचेगा और भीषण चक्रवाती तूफान के रूप में दीघा और हटिया के बीच पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश के तटों से टकराएगा.
विशेष राहत आयुक्त पी के जेना ने कहा कि इससे ओडिशा के तटीय इलाकों में भारी बारिश और तेज रफ्तार हवाएं चलने की आशंका बढ़ गई है और राज्य सरकार ने संवेदनशील इलाकों से लोगों को निकालने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. मछुआरों से 21 मई तक समुद्र में नहीं जाने को कहा गया है.
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