Table of Contents
- क्या है एक्सिओम 4 मिशन जिसके लिए रवाना हुए हैं शुभांशु शुक्ला
- एक्सिओम 4 मिशन पर भारत ने खर्च किए हैं 500 करोड़
- गगनयान मिशन के लिए चुने जा चुके हैं शुभांशु शुक्ला
Shubhanshu Shukla : शुभांशु शुक्ला अंतत: एक्सिओम 4 मिशन के लिए रवाना हो गए हैं. उनका स्पेसएक्स ड्रैगन विमान 25 जून की दोपहर 12 बजकर 01 मिनट पर प्रक्षेपित हुआ. उनके विमान के प्रक्षेपण के साथ ही शुभांशु शुक्ला दूसरे ऐसे भारतीय बन गए हैं जो अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर जा रहे हैं. उनके पहले 1984 में भारत के पहले अंतरिक्ष यात्री राकेश शर्मा अंतरिक्ष स्टेशन पर गए थे. शुभांशु शुक्ला भारतीय वायु सेना के ग्रुप कैप्टन हैं.
क्या है एक्सिओम 4 मिशन जिसके लिए रवाना हुए हैं शुभांशु शुक्ला
एक्सिओम 4 मिशन (Axiom Mission-4) कमर्शियल स्पेस मिशन है, जिसे अमेरिका लीड कर रहा है. इस मिशन को अमेरिका की प्राइवेट कंपनी एक्सिओम मिशन चला रही है. इस मिशन में कुल 60 प्रयोग किए जाएंगे जिनमें से 7 को भारत की ओर से इसरो ने डिजाइन किया है. इस मिशन में जाने वालों में अमेरिका, भारत, पोलैंड और हंगरी के अंतरिक्ष यात्री शामिल हैं.इस मिशन के दौरान अंतरिक्ष यात्री स्पेस स्टेशन से सीधे बच्चों और शिक्षकों से बात भी करेंगे. इसका उद्देश्य बच्चों को विज्ञान और अंतरिक्ष से जुड़े रहस्यों के प्रति उत्साहित करना है. इसके साथ ही यह भारत के गगनयान मिशन के लिए भी बहुत खास होने जा रहा है क्योंकि एक्सिओम 4 मिशन के जरिए ‘मीटर 0‑ग्रेविटी अनुभव और लाइव सिस्टम प्रशिक्षण’ संभव होगा जो गगनयान मिशन के लिए बहुत उपयोगी होगा.
एक्सिओम 4 मिशन पर भारत ने खर्च किए हैं 500 करोड़
एक्सिओम 4 मिशन के लिए भारत ने लगभग 500 करोड़ रुपए खर्च किए हैं. इसकी वजह यह है कि भारत अपने अंतरिक्ष मिशन को और आगे बढ़ाना चाहता है और वह इस 500 करोड़ के खर्च को निवेश की तरह देखता है. भारत सरकार अपनी महत्वकांक्षी गगनयान मिशन को लेकर भी चिंतित है और यह मिशन एक तरह से उसका अभ्यास है. मीटर 0‑ग्रेविटी अनुभव और लाइव सिस्टम प्रशिक्षण इस मिशन के दौरान मिलेगा जिसका लाभ आगे के मिशन में मिलेगा.
गगनयान मिशन के लिए चुने जा चुके हैं शुभांशु शुक्ला
शुभांशु शुक्ला की उम्र 40 साल है और वे उत्तर प्रदेश के लखनऊ के रहने वाले हैं. उनका चयन इसरो के गगनयान मिशन के लिए पहले ही हो चुका है. वे उन चार अंतरिक्ष यात्रियों में शामिल हैं जिनका चयन गगनयान मिशन के लिए हुआ है. शुभांशु शुक्ला अंतरराष्ट्रीय स्पेस स्टेशन पर पहुंचने वाले पहले भारतीय भी हैं. वे भारतीय वायुसेना के अनुभवी पायलट हैं. वे Su-30 MKI, MiG-21, MiG-29, जगुआर, हॉक, डोर्नियर और An-32 सहित कई अन्य विमानों को भी उड़ा चुके हैं. उनके पास कुल 2,000 घंटे की उड़ान का अनुभव है. वे एक्सिओम मिशन में बतौर पायलट शामिल हो रहे हैं, जो भारत की बड़ी उपलब्धि है, जबकि राकेश शर्मा के समय में तकनीक सीमित थे और रूस के आमंत्रण पर वो अतिथि अंतरिक्ष यात्री की तरह गए थे.
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