आज बुधवार को है Vikat Sankashti Chaturthi 2025, जानिए क्यों खास है गणेश पूजा का यह दिन
Vikat Sankashti Chaturthi 2025: वैशाख मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को विकट संकष्टी चतुर्थी के नाम से जाना जाता है. विकट संकष्टी चतुर्थी व्रत का आयोजन क्यों किया जाता है और इसके करने से क्या लाभ होते हैं, इस विषय में जानकारी प्राप्त करें.
By Shaurya Punj | April 16, 2025 4:35 AM
Vikat Sankashti Chaturthi April 2025: हिंदू धर्म में संकष्ठी चतुर्थी का अत्यधिक महत्व है. यह व्रत भगवान गणेश को समर्पित होता है और हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है. इस वर्ष यह पावन व्रत 16 अप्रैल 2025, बुधवार को पड़ रहा है, जो विशेष रूप से मंगलकारी माना जाता है क्योंकि बुधवार भगवान गणेश का दिन होता है. इस दिन भक्त भगवान गणेश की पूजा करके अपने जीवन से विघ्नों को दूर करने की प्रार्थना करते हैं.
संकष्ठी चतुर्थी का महत्व
‘संकष्ठी’ का अर्थ है संकटों को समाप्त करने वाली. इस दिन उपवास और पूजा करने से जीवन की कठिनाइयों और बाधाओं का नाश होता है. भगवान गणेश को विघ्नहर्ता और बुद्धि के देवता माना जाता है. मान्यता है कि जो भक्त इस दिन सच्चे मन से व्रत करता है और चंद्रमा के दर्शन के बाद अपना व्रत खोलता है, उसे सुख, शांति और समृद्धि प्राप्त होती है.
पूजा विधि
संकष्ठी चतुर्थी के दिन प्रातः स्नान करके व्रत का संकल्प लिया जाता है. दिनभर फलाहार या निर्जल उपवास रखा जाता है. संध्या के समय गणेश जी की विधिपूर्वक पूजा की जाती है. उन्हें दुर्वा, मोदक, लाल फूल और धूप-दीप अर्पित किए जाते हैं. इसके बाद चंद्रमा को अर्घ्य देकर व्रत खोला जाता है. चंद्रमा के दर्शन इस दिन विशेष रूप से शुभ माने जाते हैं.
गणेश पूजा के लाभ
इस दिन की गई पूजा से कार्यों में आने वाली बाधाओं से छुटकारा मिलता है.विद्यार्थी इसे बुद्धि और ध्यान की प्राप्ति के लिए करते हैं.व्यापारी और नौकरीपेशा लोग इसे सफलता और प्रगति के लिए करते हैं. इसके अतिरिक्त, यह व्रत पारिवारिक सुख, संतान की उन्नति और वैवाहिक जीवन की शांति के लिए भी अत्यंत प्रभावी माना गया है.