धोरैया. थाना क्षेत्र के घसिया गांव निवासी सिकंदर मंडल की 60 वर्षीय पत्नी शांति देवी की मौत बुधवार को सर्पदंश से हो गयी. जानकारी के अनुसार बुधवार की सुबह वह घर के बगल स्थित गौशाला से गोइठा निकाल रही थी. इसी दौरान विषैले सर्प ने उसे डंस लिया. आनन-फानन में परिजनों द्वारा उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र धोरैया ले जाया गया. जहां से उसे बेहतर इलाज के लिए मायागंज भागलपुर रेफर कर दिया गया. जहां रास्ते में ही उसकी मौत हो गयी. मृतका के परिजन अशोक मंडल ने बताया कि उसकी चाची की मौत अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही से हुई है. बुधवार की सुबह करीब आठ बजे जब वह उसे लेकर धोरैया अस्पताल पहुंचे तो वहां मौजूद चिकित्सक डॉक्टर दीपक कुमार ने करीब 45 मिनट बाद उन्हें एंटीवेनम इंजेक्शन लगायी. पहले तो उन्होंने कहा कि जब तक महिला को चक्कर नहीं आ जाता है, तब तक कैसे सूई लगायेंगे, जबकि उन लोगों के द्वारा पकड़े गये सांप को भी ले जाकर चिकित्सक को दिखाया गया, बावजूद इसके सुई देने में काफी विलंब हुई. इसके उपरांत स्थिति बिगड़ने पर आनन-फानन में उसे रेफर कर दिया गया. जिससे महिला की मौत हो गयी. अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही से परिजनों में काफी आक्रोश व्याप्त है. वहीं घटना की सूचना मिलने पर प्रखंड प्रमुख प्रतिनिधि आलोक कुमार भी मृतका के घर पहुंचे तथा पीड़ित को सांत्वना दिया. इस संदर्भ में प्रखंड प्रमुख रंजू देवी ने कहा कि अस्पताल प्रबंधन का यह रवैया काफी अनुचित है. अगर समय रहते उसे सुई दी जाती तो महिला बच सकती थी. चिकित्सक के बारे में वे जिला को पत्र प्रेषित करेंगी. वहीं घटना के बाद से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है. मृतका को चार पुत्र तथा एक पुत्री है. वहीं घटना की सूचना मिलने पर पुलिस भी पहुंची तथा मामले की तहकीकात की. इस संदर्भ में थानाध्यक्ष अमित कुमार ने बताया कि परिजनों के आवेदन के उपरांत इस मामले में अग्रिम कार्रवाई की जायेगी.
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