विशेष वास्तुकार और कारीगर होंगे शामिल
तेलंगाना के प्रसिद्ध शिल्पकार एम. वेंकटरमना की संस्था मल्लिकार्जुन स्वामी शिल्पी वर्क्स के दो दर्जन से अधिक कारीगर 18 अप्रैल को राजमंड्री से मंदार पहुंचेंगे. छह महीने में मंदिर निर्माण का काम पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. मंदिर निर्माण समिति के सचिव देवाशीष उर्फ निप्पू पांडे ने बताया कि निर्माण सामग्री की व्यवस्था पूरी कर ली गई है.
शुद्ध दक्षिण भारतीय शैली में निर्माण
मंदिर का संपूर्ण निर्माण दक्षिण भारत की आगम शास्त्र पर आधारित होगा. मुख्य मंदिर के साथ गोपुरम में शिव परिवार की मूर्तियां (शिव, पार्वती, गणेश, कार्तिकेय, नंदी और सुब्रमण्यम स्वामी) स्थापित की जाएंगी. मंदिर के गुंबद पर वीरभद्र स्वामी, ध्यान शिवा और नटराज की मूर्तियां चारों ओर स्थापित होंगी.
शिलान्यास से निर्माण तक का सफर
मार्च 2023 में तत्कालीन राज्यपाल विश्वनाथ आर्लेकर और पूर्व केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे ने मंदिर का शिलान्यास किया था. राम कर्मभूमि न्यास के माध्यम से निर्माण के लिए आर्थिक व्यवस्था की गई है. अब मंदिर का डिजाइन तैयार हो चुका है, अगले सप्ताह से निर्माण कार्य विधिवत शुरू होगा. यह मंदिर न केवल धार्मिक आस्था का केंद्र बनेगा, बल्कि बांका जिले के पर्यटन को भी नई ऊंचाई देगा.
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