Weather: बिहार में मौसम का कहर, कोसी-सीमांचल में आंधी-बारिश से मची तबाही, दो की मौत

Weather: बिहार के भागलपुर और पूर्णिया में तेज आंधी और बारिश ने तबाही का मंजर दिखाया. शहर में कम पर गांवों में मौसम की मार ज्यादा पड़ गयी. कहीं पेड़ गिर गये तो कहीं कच्चे घरों के छप्पर भी उड़ गये, जबकि कहीं फसलें चौपट हो गयीं. करीब एक घंटे तक की आंधी और बारिश ने दर्जनों पेड़, घर का छप्पर उखाड़ दिए. आलम यह रहा कि शहर में कहीं बिजली को पोल उखड़ गये तो कहीं तार टूट कर नीचे पसर गये.

By Radheshyam Kushwaha | June 3, 2025 9:41 PM
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Bihar Weather: कोसी-सीमांचल में तेज आंधी-बारिश ने तबाही मचा दी है. कहीं पेड़ गिर गये तो कहीं कच्चे घरों के छप्पर भी उड़ गये है, जबकि कहीं फसलें चौपट हो गयीं. इस आंधी बारिश के दौरान सहरसा में दो लोगों की मौत भी हो गयी है. कुछ जगहों पर कुछ लोगों के घायल होने की सूचना है. करीब एक घंटे तक की आंधी और बारिश ने दर्जनों पेड़, घर का छप्पर उड़ा दिये. कहीं बिजली के पोल उखड़ गये, तो कहीं तार टूट कर नीचे आ गये. कई इलाके में सोमवार की रात से अब तक बिजली की आपूर्ति ठप है. इस आंधी बारिश से सबसे बड़ा नुकसान किसानों का हुआ. मक्का पहले से चौपट था पर इस बार केला के पौधे भी खेतों में धराशायी हो गये. उधर, पेड़ों में तैयार हो रहे आम झड़ कर जमीन पर आ गये. पेड़ की शाखाओं के गिर जाने से मुख्य सड़क का लगभग भाग अवरुद्ध पड़ा था.

आंधी से अस्त व्यस्त हुआ जनजीवन, बिजली पूरी रात ब्लैकआउट

सोमवार की देर शाम आयी अचानक तेज आंधी और बारिश ने आम जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया. करीब साढे आठ बजे के करीब तेज आंधी उस वक्त आई जब बाजारों में चहल पहल थी और लोग अपने कामों में लगे थे. जब तक लोगों को अहसास होता, तब तक हवा ने आंधी का रूप ले लिया. इस दौरान करीब 60 किलोमीटर की रफ़्तार से बेहद धूलभरी आंधी चली और फिर तेज बारिश शुरू हो गयी. लगभग 10 मिनट की आंधी ने जिला मुख्यालय सहित अनेक प्रखंडों में भी तबाही मचाई है. एक ओर जहां कई लोगों के घरों के छप्पर उड़ गये वहीं कई विशाल पेड़ धराशायी हो गये, जबकि पेड़ की बड़ी बड़ी शाखाओं ने अनेक स्थानों पर न सिर्फ यातायात को ही प्रभावित किया.

दर्जनों घर धराशायी

जिला मुख्यालय के राजेन्द्र बाल उद्यान और गिरिजा चौक के बीच दोनों ही ओर से पेड़ की शाखाओं के गिर जाने से मुख्य सडक का लगभग भाग अवरुद्ध पड़ा था, जबकि कला भवन रोड में भी वृक्ष की शाखाओं ने बिजली के कई पोल को क्षतिग्रस्त कर सड़कों को अवरुद्ध कर दिया था. इस वजह से शहर के कई वार्ड रातभर अंधेरे में डूबे रहे, शहर के कुछ इलाकों में लगभग सुबह के समय विद्युत सेवा बहाल हो पायी, जबकि मंगलवार को भी अनेक मोहल्लों में पूरे दिन बिजली की समस्या बनी ही रही. वहीं वन विभाग और विद्युत विभाग के कर्मी यातायात और बिजली व्यवस्था को सुचारू करने के लिए गिरे वृक्षों और शाखाओं की साफ़ सफाई और बिजली के तारों को ठीक करने में लगातार लगे रहे. इस आंधी तूफ़ान का असर खेत की फसलों और बाग़ बगीचों पर भी हुआ है. मिली जानकारी के अनुसार कई प्रखंडों में इस आंधी ने खेतों में खड़ी फसल खासकर केला, मक्का और सब्जी के साथ साथ आम और लीची को भी नुकसान पहुंचाया है. फसलों और फलों के गिरने के साथ साथ सब्जियों के अलान भी धराशायी हो गये हैं. किसान एक बार फिर अपनी मेहनत से चीजों को सामान्य बनाने में जुटे हुए हैं.

आंधी-बारिश में करीब 400 बिजली पोल और 8 ट्रांसफार्मर क्षतिग्रस्त

पूर्णिया में आयी तेज आंधी-बारिश का सबसे बड़ा असर बिजली आपूर्ति पर पड़ा है. शहरी क्षेत्र से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में करीब 400 बिजली पोल और 8 ट्रांसफार्मर क्षतिग्रस्त हो गये है, जिससे बिजली आपूर्ति बाधित रही. शहर के ऐसे कई मोहल्ले में 20 घंटे बाद भी बिजली आपूर्ति नहीं हो सकी. हालांकि शहर के अधिकांश मोहल्ले में मंगलवार की सुबह बिजली आपूर्ति बहाल हो गयी. कार्यपालक अभियंता बलवीर कुमार बागी ने बताया कि सोमवार की देर शाम आयी तेज आंधी-बारिश से करीब 400 बिजली पोल के साथ-साथ 8 ट्रांसफार्मर क्षतिग्रस्त हो गये. इसके अलावा 33 हजार सप्लाई तार, व फ्यूज उड़ गये. इसके चलते बिजली आपूर्ति बाधित हो गयी.

आंधी- बारिश से केले की फसल को भारी नुकसान

धमदाहा अनुमंडल क्षेत्र के केले के किसानों को भारी नुकसान हुआ. अनुमंडल क्षेत्र के कुआंरी माली पुरंदाहा, बिशनपुर, अमारी कुकरौन, कसमरा समेत दर्जनों गांवों में केला किसान परेशानी में पड़ गये. सैकड़ों एकड़ में लगी केले की फसल का काफी क्षति हुई. किसानों के खेत में तैयार केले के खांधि जो जो एक महीने के कटिंग होता लेकिन कटने के पहले की इस हवा में गिर गये. इससे काफी ज्यादा नुकसान पहुंचा है. तेज आंधी के कारण सैकड़ों एकड़ में लगा केला का पौधा धरासाई हो गया. अचानक आयी इस आफत से क्षेत्र के किसानों की सारी उम्मीदों पर पानी फिर गया है. किसान डब्लू सिंह बबलू ठाकुर पीकू सिंह मो. टिकलु सिंह मनन सिंह आदि ने बताया कि एक साल की खेती होती है, जिसमें बहुत लंबा खर्चा होता है. अब फायदा की बारी आई तो इस तूफानी बारिश ने हम किसानों का कमर तोड़ दिया. हमलोग कर्ज लेकर खेती किए थे, अब क्या होगा. किसानों ने सरकार से इसकी भरपाई करने की मांग की है.

कहीं घर धराशायी तो कहीं उड़ गये टिन के शेड

बनमनखी अनुमंडल क्षेत्र में सोमवार की संध्या आंधी तूफान के बाद हुई तेज बारिश ने गांव में भारी तबाही मचाई है. दर्जनों घर धराशायी हो गए, जबकि बड़े-बड़े और पुराने पेड़ गिर उखड़ गए. कच्चे घरों के गिरने की वजह से भी लोगों को बड़ा नुकसान हुआ है. आंधी तूफान के दौरान कई जगह घरों के टीन शेड चादर हवा में उखड़ गये. बारिश के इस मौसम में सर से छप्पर भी चला गया, जिससे परेशानी पढ़ गयी है. इस दौरान फसलों का भी भारी नुकसान हुआ है. नगदी फसल आम, कटहल व झींगा, परवल जैसी सब्जियां तहस नहस हो गई. बनमनखी क्षेत्र के मुख्य बाजार सहित धीमा, काझी, मलिनियां, रसाढ़, हरमुढी़, पीपरा, मोहनियां आदि गांवों के कई परिवारों के टीन के छप्पर क्षतिग्रस्त हो गए. बनमनखी, काझी, मलिनियां जानेवाली सड़क में मोटे पेड़ गिर जाने से वाहनों का परिचालन बाधित हो गया. कई फीडर के तमाम क्षेत्र में बिजली भी बाधित है.हल्की बारिश एवं तेज हवा के कारण मौसम खराब होने से मक्का किसानों को भारी परेशानी हो गया. कई गांवों में किसानों का मक्का अभी खेत खलिहानों में पसरा पड़ा है.

आंधी ने तोड़ी किसानों की कमर, बिजली आपूर्ति चरमरायी

भवानीपुर में भवानीपुर क्षेत्र के किसानों को लाखों रुपये की क्षति हुई है. किसानों ने मक्का, गेहूं और केला की फसलें लगाकर जीवन यापन की उम्मीदें पाली थीं, लेकिन बेमौसम मौसम की मार ने उनकी आशाओं को चकनाचूर कर दिया. खेतों में लहलहाती फसलें देखते ही देखते धराशायी हो गईं, जिससे किसान गहरे सदमे में हैं और अपने भाग्य को कोसने के लिए विवश हैं. मक्का की फसल कटाई के लिए तैयार थी, वहीं दूसरी ओर आंधी और बारिश ने कहर बरपाना शुरू कर दिया. इससे तैयार अनाज को समेटना किसानों के लिए बेहद मुश्किल हो गया है. क्योंकि अधिकांश किसानों ने कर्ज लेकर फसलें लगाई थीं. अब बर्बादी के बाद उनके पास कर्ज चुकाने के भी साधन नहीं बचे हैं. भीग जाने के कारण मक्का की गुणवत्ता प्रभावित हुई है और व्यापारी इसका उचित मूल्य देने से कतरा रहे हैं.

बिजली आपूर्ति भी प्रभावित

प्रखंड मुख्यालय स्थित विद्युत आपूर्ति प्रशाखा भवानीपुर के अंतर्गत सोनदीप एवं भिट्ठा सब-स्टेशन आते हैं. विद्युत कनीय अभियंता दशरथ मंडल ने बताया कि सोनदीप सब-स्टेशन क्षेत्र के 15 जगहों पर तार टूट गए हैं और कई खंभे गिर चुके हैं, जिससे विद्युत आपूर्ति ठप हो गई है. उन्होंने बताया कि मरम्मत कार्य युद्ध स्तर पर चल रहा है और जल्द ही बिजली आपूर्ति बहाल कर दी जाएगी.

बरगद पेड़ गिरने से एनएच-107 पर बाधित रहा यातायात

केनगर में तेज आंधी और बारिश के दौरान पूर्णिया सहरसा एन एच-107 मुख्य सड़क पर विशाल बरगद का पेड गिर गया. इससे 17 घंटे तक आवागमन ठप पडा रहा. वन विभाग की ओर से मंगलवार की दोपहर वृक्ष हटाया गया. इसके बाद परिचालन संभव हो पाया. उधर, काझा पंचायत के काझा हाट बाडी स्थित बिजली के ट्रांसफार्मर पर बरगद का पेड गिरने से ट्रांसफार्मर क्षतिग्रस्त हो गया जिससे आपूर्ति बाधित हो गयी. तेज आंधी बारिश ने गरीबों के टिन से बने छप्पर उजाड़ दिए. परोरा पंचायत के वार्ड संख्या-3 स्थित भोकराहा गांव में मो. तनवीर आलम के पोल्ट्री फार्म पर एक बरगद का पेड गिरने से मुर्गी के करीब सौ बच्चे दबकर मर गये. कई जगहों पर बड़े बड़े विशाल वृक्ष धराशायी हो गये जबकि बिजली खंभा भी टूट गया है और बिजली पूर्ण रूप से बाधित हो गयी है. तेज आंधी ने आम, लीची एवं सब्जी लगा फसल को भी व्यापक नुकसान पहुंचा दिया.

आंधी- बारिश से सैकड़ों हेक्टेयर में लगी मक्का और गेहूं की फसल नुकसान

कसबा मक्का को काफी नुकसान होने का अनुमान लगाया जा रहा है. पीड़ित किसानों ने संबंधित विभाग के अधिकारियों से मक्का और गेहूं फसल की क्षति को लेकर सरकार से मुआवजा देने की मांग की है. बताया गया कि सोमवार की संध्या करीब आठ बजे आयी आंधी तूफान के दौरान बारिश में प्रखंड बारह पंचायत समेत नगर परिषद कसबा के सैकड़ों हेक्टेयर में लगी मक्का और गेहूं की फसल को काफी नुकसान हुआ है. तथा गरीबों के कच्चे घर बुरी तरह बर्बाद हो गये.सब्दलपुर के संजय साह ,विजय साह,अमर साह ,महावीर साह ने कहा कि अब फसल तैयार होने के कगार पर पहुंचा ही था कि आंधी और बारिश से फसल को काफी नुकसान हो गया.

किसानों को भारी नुकसान

किसानों ने कहा कि फसल से घर परिवार का भरण पोषण होना तो दूर लागत पूंजी भी इस बार निकलना मुश्किल हो जाएगा. कुल्लाखास के पूर्व मुखिया देवनारायण चौरसिया ,संजय विश्वास ने कहा कि प्रत्येक साल की तरह इस साल भी कर्ज लेकर ही गेहूं और सब्जी की खेती की थी. खेती पर ही उन लोगों के पूरे साल का घरेलु खर्च निर्भर होता है. लेकिन आंधी पानी के कारण गेहूं के साथ पपीता और सब्जी की फसल बर्बाद हो गया. पीड़ित किसानों ने कृषि विभाग के अधिकारियों से फसल की जांच कर मुआवजा उपलब्ध कराने की मांग की है. इधर आंधी-बारिश से बिजली आपूर्ति बाधित रही. सोमवार शाम से लेकर शनिवार दोपहर तक बिजली आपूर्ति बहाल नहीं हुई थी. इधर कसबा सीओ रीता कुमारी के निर्देश पर राजस्व कर्मचारी सुजीत कुमार ने मंगलवार को बेघर हुए परिजनों से मिलकर उसकी आपबीती सुनी और बारीकी से जांच की.

आंधी-पानी से फसल को परेशान

बड़हरा कोठी प्रखंड क्षेत्र में अचानक सोमवार की रात आयी आंधी- पानी का कहर बड़हरा प्रखंड मुख्यालय से लेकर हर पंचायत एवं गांव में देखने को मिल रहा है. बारिश ने खेत मे लगी मकई, आम, लीची एवं बिजली पोल, वृक्ष, घर के फसल नुकसान पहुंचाया ही कई किसानों के मकई भी बारिश में भींग गये. खेत में पानी जमा हो जाने से मूंग और पाट को तो फायदा हुआ ही लेकिन किसानों के कटे मकई भी पानी मे तैरते दिखे. कई किसानों के तैयार मकई पानी मे पूरी तरह भींग चुके हैं. पीड़ित किसानों ने बताया कि पैक्स द्वारा मकई खरीद नहीं किये जाने से किसान निजी व्यपारियों को औने पौने दाम में मकई बेचने को विवश है. अब भीग चुके मकई को और कम कीमत पर ही बेचना होगा. प्रखंड क्षेत्र आंधी से वृक्ष बिजली पोल आदि गिरने से विद्युत व्यवस्था बाधित हो गया है.

आंधी के दौरान दर्दनाक हादसा, नवविवाहित युवक की बैलगाड़ी के नीचे दबकर मौत

सहरसा के नवहट्टा प्रखंड के केदली पंचायत अंतर्गत छतवन गांव वार्ड संख्या 9 में सोमवार की शाम आयी तेज आंधी ने एक परिवार की खुशियां छीन लीं. आंधी से बचने की कोशिश में बैलगाड़ी के नीचे छिपे एक युवक की दर्दनाक मौत हो गयी. मृतक की पहचान हरिकिसुन यादव के 25 वर्षीय पुत्र उमेश कुमार के रूप में हुई है. प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार तेज आंधी और तूफान के दौरान उमेश कुमार खेत के पास बहियार में था. मौसम की अचानक बिगड़ी स्थिति से घबराकर वह पास खड़ी बैलगाड़ी के नीचे शरण लेने की कोशिश करने लगा. इसी दौरान तेज हवा के झोंकों ने बैलगाड़ी को असंतुलित कर दिया और वह उमेश के ऊपर पलट गयी. बैलगाड़ी की चपेट में आकर उमेश गंभीर रूप से घायल हो गया. जब तक लोग दौड़कर उसे बाहर निकालते, तब तक उसकी मौत हो चुकी थी. घटना की सूचना मिलते ही पूरे गांव में शोक की लहर दौड़ गयी. सबसे दुखद पहलू यह रहा कि उमेश कुमार की शादी महज एक सप्ताह पहले ही हुई थी. विवाह के बाद ससुराल से लौटकर अभी गृहस्थ जीवन की शुरुआत भी ठीक से नहीं हुई थी कि यह दर्दनाक हादसा हो गया. उमेश की पत्नी, मां और पिता का रो-रोकर बुरा हाल है.

आंधी-तूफान में एस्बेस्टस का टुकड़ा सिर पर चुभने से बच्चे की मौत

सहरसा के सलखुआ में सोमवार की रात अचानक आयी आंधी तूफान के प्रभाव से प्रखंड के कई गांवों में भीषण तबाही दिखी. एक किशोर की मौत भी हो गयी. जबकि कई जख्मी का इलाज जारी है. मिली सूचना के अनुसार सलखुआ के बनकट्टी गांव में सोमवार की रात आयी तेज आंधी-बारिश में एक छप्पड़ से उड़ा एस्बेस्टस का टुकड़ा एक सोये किशोर के सिर में धंस गया. जिससे बच्चे की मौत हो गयी. मृतक की पहचान रमेश चौधरी के 13 वर्षीय बेटे लवकुश कुमार के रूप में हुई है. घटना रात करीब 8 बजे अचानक आयी आंधी एवं तूफ़ान से शुरू हुई. जिसमें रमेश चौधरी के घर का एस्बेस्टस उड़ गया. जिसके टुकड़े ने सोये एक किशोर की जान ले ली और गृह स्वामी को बुरी तरह जख्मी कर दिया. रमेश चौधरी का पैर एस्बेस्टस के टुकड़े से घायल हो गया. जिसका इलाज जारी है. स्थानीय लोगों ने जख्मी लवकुश व उसके पिता को सलखुआ अस्पताल पहुंचाया. वहां से उसे जिला अस्पताल भेजा गया. अस्पताल पहुंचते ही डॉक्टरों ने लवकुश को मृत घोषित कर दिया. परिजन ने बताया कि एस्बेस्टस का टुकड़ा सिर में घुसने से अत्यधिक खून बह गया.

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