Bihar By Election Result: बेलागंज में 34 वर्षों का किला हुआ ध्वस्त, NDA को पहली बार मिली जीत
Bihar By Election Result: बेलागंज विधानसभा के गठन के बाद 1990 में जनता दल के टिकट पर सुरेंद्र प्रसाद यादव पहली बार यहां से चुनाव जीते थे. 2000 से इस सीट पर राजद का कब्जा था और पहली बार एनडीए प्रत्याशी मनोरमा देवी ने इस सीट से जीत दर्ज की है.
By Anand Shekhar | November 23, 2024 8:40 PM
कंचन, गया. Bihar By Election Result: गया जिले की दो सीटों बेलागंज और इमामगंज पर एनडीए को जीत हासिल हुई है. इसमें एक सीट इमामगंज पहले भी एनडीए के हिस्से में थी, पर सबसे ज्यादा जिस सीट की चर्चा हो रही वह बेलागंज है. यहां एनडीए ने 34 वर्षों के किले को ध्वस्त कर इतिहास बनाया है. यहां से जीत हासिल करने वाली मनोरमा देवी विधान पार्षद रह चुकीं हैं, पर विधानसभा पहली बार जायेंगी.
1990 से 2000 तक रहा जनता दल का कब्जा
बेलागंज विधानसभा क्षेत्र से वर्ष 1990 में सुरेंद्र प्रसाद यादव ने जनता दल के टिकट पर चुनाव जीता था. फिर 1995 में भी दूसरी बार जीतकर विधानसभा पहुंचे. वर्ष 1998 में जहानाबाद संसदीय सीट से चुनाव जीतने के कारण यह सीट खाली हो गयी तब जनता दल के सिंबल पर ही महेश सिंह यादव चुनाव जीत कर विधायक बने.
वर्ष 2000 से 2020 तक राजद का रहा कब्जा
वर्ष 2000 से लगातार 2020 तक हुए विधानसभा के चुनाव में डॉ सुरेंद्र प्रसाद यादव राजद के टिकट पर चुनाव जीतते रहे. इसी वर्ष लोकसभा चुनाव में जहानाबाद संसदीय सीट से पुन: राजद की टिकट पर डॉ सुरेंद्र प्रसाद यादव चुनाव जीत कर दूसरी बार लोकसभा पहुंचे. उनके सांसद बनने के बाद खाली सीट पर उन्होंने विधानसभा उपचुनाव में अपने बड़े बेटे विश्वनाथ प्रसाद सिंह उर्फ विश्वनाथ यादव को उम्मीदवार बनवाया. इस विधानसभा क्षेत्र में तेजस्वी यादव ने कई सभाएं कीं और राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने भी न सिर्फ सभा की, बल्कि एक दिन कैंप कर पुराने-नये लोगों से संपर्क कर राजद की जीत की अपील की थी. इधर इमामगंज और बेलागंज से चुनाव जीतीं दोनों महिलाएं पहली बार विधानसभा की दहलीज पार करेंगी.
जीतन राम मांझी सहित चार रिश्तेदार अब जनप्रतिनिधि
अब जीतन राम मांझी के परिवार से चार जनप्रतिनिधि लोकसभा, विधानसभा व विधान परिषद में हैं. जीतन राम मांझी फिलहाल सांसद के साथ केंद्रीय मंत्री हैं. वहीं उनके पुत्र संतोष कुमार सुमन विधान पार्षद के साथ बिहार सरकार में मंत्री हैं. मांझी की बहू दीपा मांझी उप चुनाव जीतकर विधान सभा पहुंचेंगी, जबकि जीतन राम मांझी की समधन और दीपा मांझी की माता ज्योति मांझी बाराचट्टी से विधायक हैं. इमामगंज सीट से 2015 में पहली बार जीतन राम मांझी ने जीत दर्ज की थी. फिर दूसरी बार 2020 में चुनाव जीते और इसी वर्ष हुए लोकसभा चुनाव में गया (सुरक्षित) संसदीय सीट से चुनाव लड़ कर जीत दर्ज की.
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