रामगढ़. छावनी परिषद के कर्मचारियों ने ट्रैकर स्टैंड के निकट होटल अशोका से सटे लोहार टोला रोड पर स्थित 71 डिसमिल भूमि से अवैध कब्जा हटाया. इस दौरान, कुछ देर तक रैयत परिवार व परिषद कर्मियों के बीच माहौल गरम हो गया. लोहार टोला के लोगों ने सड़क अवरुद्ध कर दिया था. सुबह 11 बजे से भूमि से कब्जा हटाने का काम शुरू किया गया. छावनी परिषद के कर्मचारियों ने जेसीबी की मदद से भूमि को खाली कराया. दावेदारों की ओर से भूमि पर चादर व बांस बल्ली से घेराबंदी की गयी थी. उसे ध्वस्त कर छावनी परिषद ने सामग्रियों को जब्त कर लिया. इस दौरान दावेदारों ने विरोध किया. गौरतलब हो कि खाता नंबर 130, प्लांट नंबर 1207, रकबा 71 डिसमिल पर रूपन तेली के वंशज खतियानी भूमि होने का दावे कर रहे हैं. इस भूखंड पर छावनी परिषद व कथित रैयत परिवार के बीच विवाद भी चला. अभी मामला अनुमंडल कोर्ट में है. रैयत परिवार के धर्मेंद्र कुमार, चंदन प्रसाद, बलराम साव, कृष्णा साव ने प्रेस वार्ता में बताया कि उक्त भूखंड पर छावनी परिषद ने 56 डिसमिल पर अधिग्रहण बताया है. उसका दस्तावेज परिषद के पास नहीं है. फिर भी, छावनी परिषद की अधिग्रहित भूमि के अलावा शेष 15 डिसमिल भूमि पर हमारा हक बनता है. छावनी परिषद के पूर्व उपाध्यक्ष रामदेव प्रसाद भी रैयत परिवार के दावेदार हैं. उनका कहना है कि छावनी परिषद के कार्य का हम सब विरोध करते हैं. मुख्य अधिशासी अधिकारी के निर्देश पर चला अभियान : छावनी परिषद के कनीय अभियंता पिंटू कुमार ने बताया कि मामला अनुमंडल कोर्ट में है. फैसले का इंतजार करना चाहिए. उक्त जमीन सर्वे में 138/सी लैंड है. यह मिनिस्ट्री ऑफ डिफेंस भूमि है. भूमि देखरेख की जिम्मेवारी छावनी परिषद की है. देर रात भूखंड पर घेराबंदी की सूचना मिली थी. मुख्य अधिशासी अधिकारी अनंत आकाश के निर्देश पर कर्मचारियों ने भूखंड पर अतिक्रमण हटाओ अभियान चला कर सामान को जब्त किया है. इस दौरान कुछ लोगों ने सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न करने की कोशिश की है.
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