साहिबगंज. कृषि प्रधान जिला साहिबगंज में इस वर्ष मानसून की अच्छी शुरुआत ने किसानों के चेहरे पर उम्मीद की रौनक ला दी है. जिले की लगभग 49,000 हेक्टेयर भूमि पर धान की खेती की जाती है और अब तक खरीफ मौसम की कुल खेती का लगभग 24 प्रतिशत क्षेत्र में बुआई का कार्य पूरा किया जा चुका है. प्रथम मानसून की 98.19 प्रतिशत औसत वर्षा और जुलाई के पहले सप्ताह की अच्छी बारिश ने फसल की बुआई के लिए अनुकूल वातावरण तैयार किया है. यदि आने वाले समय में बारिश इसी तरह जारी रही, तो किसानों को इस बार धान, मक्का, दलहन, तिलहन और मोटे अनाज के बेहतर उत्पादन की पूरी उम्मीद है. जिला कृषि पदाधिकारी प्रमोद कुमार एक्का ने बताया कि इस वर्ष किसानों को अधिक मात्रा में जलवायु सहिष्णु एवं रोग प्रतिरोधक किस्मों के बीज उपलब्ध कराये गये हैं, जिससे पैदावार में बढ़ोतरी की संभावना है. उन्होंने बताया कि वर्ष 2025-26 के लिए निर्धारित लक्ष्य के अनुसार धान 49,000 हेक्टेयर लक्ष्य के विरुद्ध 13,382 हेक्टेयर, मक्का 15,000 हेक्टेयर लक्ष्य के विरुद्ध 6,756 हेक्टेयर, दलहन 19,300 हेक्टेयर लक्ष्य के आलोक में 120 हेक्टेयर, तिलहन 1,140 हेक्टेयर लक्ष्य में 93 हेक्टेयर, मोटे अनाज 2,500 हेक्टेयर लक्ष्य के अनुरूप 171 हेक्टेयर में बुआई हुई है. कृषि विभाग द्वारा किसानों को उन्नत किस्म के बीज, खाद और कृषि यंत्रों पर अनुदान प्रदान किया जा रहा है. इसके अलावा, किसान समन्वयकों की टीमें गांव-गांव जाकर तकनीकी मार्गदर्शन दे रही हैं. विभाग की टीमें खेतों का निरंतर निरीक्षण कर रही हैं ताकि समय पर सहायता मुहैया कराई जा सके. प्रखंडवार बोरियो: 194.6 मिमी, मंडरो 189.2 मिमी, बरहेट 188.7 मिमी, पतना 210.6 मिमी, बरहरवा 258.0 मिमी, राजमहल 186.0 मिमी, उधवा 226.0 मिमी, तालझारी 199.6 मिमी, साहिबगंज 210.9 मिमी वर्षा की स्थिति है. इस प्रकार, यदि मानसून की यही अनुकूलता बनी रही, तो इस बार साहिबगंज के किसानों के लिए सुनहरा कृषि वर्ष साबित होने की पूरी संभावना है. आर्थिक संकट से जूझ रहे किसानों को बड़ी राहत मिल सकती है.
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