दरअसल, तुर्की और सीरिया में भूकंप को लेकर पीएमओ में बैठक हुई थी, जिसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्देश पर एनडीआरएफ की दो टीमें तुर्की के लिए रवाना कर दी गईं हैं. बचाव कार्यों के लिए रवाना हुई एनडीआरएफ की टीम अपने साथ डॉग स्क्वॉड और आवश्यक उपकरणों को लेकर तुर्की के लिए निकल चुकी हैं. टीम गाजियाबाद के हिंडन एयरबेस से तुर्की के लिए रवाना हुई हैं.
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने ट्वीट कर लिखा, ‘भारत की मानवीय सहायता और आपदा राहत (एचएडीआर) कार्रवाई में सक्षम है. एनडीआरएफ खोज और बचाव दल, विशेष रूप से प्रशिक्षित डॉग स्क्वायड, चिकित्सा आपूर्ति, ड्रिलिंग मशीन और अन्य आवश्यक उपकरणों के साथ भूकंप राहत सामग्री का पहला जत्था तुर्की के लिए रवाना हुआ.’
तुर्की और सीरिया में सोमवार को आए तीन विनाशकारी भूकंपों के घंटों बाद मंगलवार को मध्य तुर्की क्षेत्र में 5.6 तीव्रता का भूकंप आया, जिसमें 4,000 से अधिक लोग मारे गए थे. हजारों अन्य घायल हैं और जीवित बचे लोगों की तलाश जारी है. भारत सहित कई देश आपूर्ति और राहत दल भेज रहे हैं. मरने वालों की संख्या बढ़ने की आशंका है, क्योंकि बचाव दल मलबे में खोजबीन कर रहे हैं.
पहले भूकंप का केंद्र सीरिया की सीमा के गाजियांटेप प्रांत में नूरदगी के पास था. अन्य दो भूकंप पास के कहारनमारास प्रांत में आए. तुर्की के राष्ट्रपति रेसेप तईप एर्दोगन ने सात दिनों के राष्ट्रीय शोक की घोषणा की है, जिसके दौरान पूरे देश में और विदेशों में अपने राजनयिक मिशनों में तुर्की के झंडे आधे झुके रहेंगे.