सांसद व तृणमूल कांग्रेस के नेता डेरेक ओब्रायन ने बुधवार को कहा कि जब संसद नहीं चलती है, तो सबसे ज्यादा फायदा सरकार को होता है. सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में तृणमूल से राज्यसभा सदस्य ने कहा कि माॅनसून सत्र के दो दिन बेकार चले गये और इसके लिए उन्होंने केंद्र सरकार को जिम्मेदार ठहराया.
By BIJAY KUMAR | July 23, 2025 11:04 PM
नयी दिल्ली/कोलकाता.
सांसद व तृणमूल कांग्रेस के नेता डेरेक ओब्रायन ने बुधवार को कहा कि जब संसद नहीं चलती है, तो सबसे ज्यादा फायदा सरकार को होता है. सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में तृणमूल से राज्यसभा सदस्य ने कहा कि माॅनसून सत्र के दो दिन बेकार चले गये और इसके लिए उन्होंने केंद्र सरकार को जिम्मेदार ठहराया.ओब्रायन ने कहा, ‘केंद्र सरकार ने संसद के दो दिन गंवा दिये. जब संसद नहीं चलती है, तो फायदा किसे होता है? सत्ता में बैठी सरकार को. सरकार संसद के प्रति जवाबदेह होती है, संसद जनता के प्रति जवाबदेह होती है. जब संसद काम नहीं करती है तो सरकार किसी के प्रति जवाबदेह नहीं होती.’ उन्होंने अपने ब्लॉग पोस्ट से एक लेख भी साझा किया, जिसमें उन्होंने बताया कि माॅनसून सत्र का कुल समय 190 घंटे का है, जिसमें से लगभग 70 प्रतिशत सरकारी कामकाज के लिए है. प्रश्नकाल के लगभग आधे प्रश्न और शून्यकाल के आधे नोटिस विपक्षी सांसदों द्वारा दायर किये जाते हैं, जिससे विपक्षी सदस्यों के पास सार्वजनिक महत्व के प्रश्न और मुद्दे उठाने के लिए कुल 31 घंटे का समय होता है. केंद्र सरकार को कुल 190 घंटों में से 135 घंटे सरकारी कामकाज और अन्य मुद्दों के लिए मिलते हैं, जो उनके अनुसार कुल समय का लगभग 70 प्रतिशत है.”
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