कोलकाता एयरपोर्ट पर सुरक्षा तैयारियों की हुई समीक्षा

राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) ने किया काउंटर-हाइजैक और आतंकरोधी अभ्यास

By SANDIP TIWARI | July 20, 2025 11:23 PM
an image

राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) ने किया काउंटर-हाइजैक और आतंकरोधी अभ्यास

कोलकाता. नेताजी सुभाष चंद्र बोस अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट (एनएससीबीआइ) पर 18-19 जुलाई की रात को राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) ने एक व्यापक काउंटर-हाइजैक और आतंकरोधी संयुक्त अभ्यास किया. इस अभ्यास का उद्देश्य विभिन्न सुरक्षा एजेंसियों और हवाई अड्डे से जुड़े पक्षों के साथ समन्वय में किसी भी जटिल सुरक्षा संकट की स्थिति में तैयारियों की जांच करना था. एनएससीबीआइ सूत्रों के अनुसार, 18 जुलाई को रात 9:34 बजे एयर ट्रैफिक कंट्रोल (एटीसी) को एक ए320 विमान के हाइजैक की झूठी सूचना दी गयी. इस विमान में 75 डमी यात्री और चालक दल मौजूद थे. तुरंत ही विमान को आइसोलेशन बे में ले जाकर घेर लिया गया. शुरुआती प्रतिक्रिया में केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआइएसएफ) की त्वरित प्रतिक्रिया टीम ने विमान को चारों ओर से घेर लिया, जबकि खुफिया ब्यूरो (आइबी) और गृह मंत्रालय के अधिकारियों ने हाइजैकर्स से बातचीत शुरू की. जब यह वार्ता विफल रही, तो एनएसजी की काउंटर-हाइजैक टास्क फोर्स ने एक समन्वित अभियान चलाया और विमान पर धावा बोल दिया. इस ऑपरेशन में सभी डमी यात्रियों और चालक दल को सुरक्षित रूप से बचाया गया और हाइजैकर्स को खत्म कर दिया गया. यह अभियान 19 जुलाई को सुबह 2:15 बजे समाप्त हुआ.

इसके साथ ही 18 जुलाई को रात 9:00 बजे एक आतंकरोधी अभ्यास भी शुरू हुआ. इसमें एएआइ कार्यालयों पर सशस्त्र आतंकवादी हमले का एक परिदृश्य तैयार किया गया, जिसमें 12 कर्मचारियों को बंधक बनाकर भवन की बिजली आपूर्ति काट दी गयी. इस स्थिति से निपटने के लिए पश्चिम बंगाल पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने परिसर को घेरा और अंदर घुसने की कोशिश की, लेकिन उन्हें कड़े प्रतिरोध और काल्पनिक हताहतों का सामना करना पड़ा. हाइजैक ऑपरेशन की समाप्ति के बाद एनएसजी की टीम ने ब्रीफिंग ली और बंधक संकट को संभाला. एक योजनाबद्ध अभियान के तहत एनएसजी कमांडो ने छह आतंकवादियों को मार गिराया और सभी बंधकों को सुरक्षित बचा लिया. यह ऑपरेशन सुबह 4:25 बजे समाप्त हुआ.

एनएससीबीआइ सूत्रों के अनुसार, इन अभ्यासों का मुख्य उद्देश्य नागरिक विमानन सुरक्षा से जुड़ी आपातकालीन परिस्थितियों में त्वरित प्रतिक्रिया, विभिन्न एजेंसियों के बीच बेहतर समन्वय और संकट प्रबंधन प्रक्रियाओं को परखना था.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

संबंधित खबर और खबरें

 

 

होम E-Paper News Snaps News reels
Exit mobile version