नयी दिल्ली : पूरी दुनिया में कोरोनावायरस कोहराम मचायी है. कई देशों में यह तेजी की रफ्तार से फैल रही है. ताजा रिपोर्ट्स के अनुसार अमेरिका में अब तक इस वायरस से सबसे ज्यादा संक्रमित मरीज मिले हैं. लेकिन, कोरोनावायरस जहां सबसे पहले देखा गया वहां कुछ दिनों में सबकुछ सामान्य होने वाला है.
चीन सरकार ने फैसला किया है कि वुहान सहित कई शहरों के लॉकडाउन को खत्म किया जायेगा. चीन के सरकारी अधिकारियों की मानें तो सरकार ने कोरोनावायरस पर पूरी तरह काबू पा लिया है और इससे निपटने के लिए तैयार हैं. आखिर जिस चीन में कोरोना चारों फेज को पार कर महामारी का रूप ले चुका था, वहां यह सब कैसे कंट्रोल हुआ? चीन ने कोरोना को वुहान सहित तमाम प्रभावित क्षेत्रों में कैसे रोका?
घरों को बंद- कोरोनावायरस पर सबसे पहला एक्शन चीन ने प्रभावित क्षेत्रों को पूरी तरह लॉकडाउन करने का लिया. वुहान शहर के सभी घरों को बंद कर दिया गया. कोई भी शख्स अपने घरों से बाहर नहीं निकल सके, इसकी चाक चौबंद व्यवस्था की गयी.
ड्रोन से निगरानी– निगरानी की कड़ी में चीन सरकार ने हरेक घरों के बाहर दो चेकपोस्ट बना दिये. यानी घर से निकलने हूं पहले चेकिंग और आने के बाद चेकिंग. इसके अलावा लोग फालतू सड़कों पर न घुमे इसके लिए ड्रोन से निगरानी शुरू की गयी.
जिम, स्कूल और कॉलेजों को अस्थाई अस्पताल- सरकार ने संक्रमित मरीजों को तुरंत आइसोलेट करने के लिए वहां के जिम, स्कूलों और कॉलेजों को अस्थाई रूप से अस्पताल में तब्दील कर दिया. सभी जगहों पर संक्रमित मरीजों को आम लोगों से अलग-थलग कर दिया गया.
ट्रैवेल हिस्ट्री निकालकर- चीन की कम्युनिस्ट सरकार ने एहतियात तौर अपने देश के सभी नागरिकों की ट्रैवल हिस्ट्री निकालकर उसकी जांच पड़ताल शुरू की. जो भी इसमें संक्रमित पाया गया उसे तुरंत आइसोलेट किया गया.
सामान बेचने वालों का डेटा बनाकर– चीन के पास सबसे बड़ी समस्या आबादी की है. तालाबंदी के दौरान लोगों को ऑनलाइन खाना मंगाने की सुविधा दी गई, लेकिन इसमें एक नियम लागू किया गया. खाने के पैकेट के साथ एक पर्ची दी जाने लगी, जिसमें खाना बनाने वाला, खाना पैक करने वाला और खाना पहुंचाने वालों का नाम और शरीर की तापमान लिखा रहता था.
जांच केंद्र बनाकर- चीन ने कोरोना से निपटने के लिए 12000 से अधिक जांच केंद्र बनाये. इन जांच केंद्रों में मरीजों के लिए आइसोलेशन की भी व्यवस्था की गई थी.
अमेरिका में फिर दर्दनाक हादसा, एरिजोना में मेडिकल विमान क्रैश, 4 की मौत
अमेरिका की पुरानी सेटिंग भी नहीं रोक पाई भारत का राफेल वार, ऑपरेशन सिंदूर से उठा पर्दा
“मैंने कोई प्रतिशत जिक्र नहीं किया,” रूसी ऊर्जा खरीदने वाले देशों पर 100% टैरिफ लगाने को लेकर ट्रंप का जवाब
ट्रंप के टैरिफ के बीच भारत की दहाड़, अजीत डोभाल रूस पहुंचकर अमेरिका को दिया कड़ा जवाब