समस्तीपुर: मुकद्दस रमजान के पूरे रोजे रखने के बाद रोजेदारों को जब ईद का तोहफा मिला तो बच्चे, बूढ़े और जवान सभी में इसको लेकर उल्लास दिखा. सुबह तय समय पर शहर के सभी ईदगाहों और मस्जिदों में सामूहिक ईद की नमाज अदा की गई और उसके बाद जश्न का माहौल शुरू हो गया. ईदगाह तक जाते हुए लोगों के जुबान पर अल्लाह पाक के नाम और उसके एहसान का जिक्र था. नमाज से पहले फित्रे की रकम गरीबों, यतीमों और जरूरतमंदों तक पहुंचाई गई ताकि वह भी ईद की खुशी में शामिल हो सकें. ईदगाह के बाहर मेले जैसा मंजर दिखा. बच्चों की खुशियां देखते ही बनती थी. नमाज के बाद लोगों ने एक दूसरे से गले मिलकर ईद की मुबारकबाद दी. मुबारकबाद का सिलसिला पूरे दिन चलता रहा. नमाज के बाद लोगों ने एक और फर्ज पूरा किया. सबों ने ईदगाह और मस्जिदों से निकलने के बाद अपने बुजुर्गो के कब्र पर जाकर फातिहा पढ़ा. देर रात तक मिलने-मिलाने, मुबारकबाद देने और दावतों का सिलसिला जारी रहा. ईद के जश्न की शुरुआत रविवार शाम चांद दिखने के ऐलान के साथ ही हो गई थी. अल्लाह के शुकराना के लिए सुबह होते ही शहर के छोटी बड़ी मस्जिदों, ईदगाहों में नमाजी जुट गए. बडे बुजुर्गों के साथ बच्चे भी पारंपरिक कुर्ता पैजामा व सर पर टोपी लगाकर नमाज अदा करने पहुंचे थे. सात बजते ही सभी ईदगाहों और मस्जिदों पर खासी भीड़ हो गई.
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