
गुमला. घाघरा व सिसई प्रखंड में दो लोगों ने फांसी लगा कर आत्महत्या कर ली. घाघरा में सहदेव मुंडा जो हर समय नशे में धुत रहता था. उसने घर में फांसी लगा ली. वहीं सिसई में युवक रोहित उरांव जो ब्राउन शुगर आदि नशीले पदार्थों का सेवन करता था, उसने फांसी लगा ली. पुलिस ने दोनों शवों का सदर अस्पताल में पोस्टमार्टम करा कर परिजनों को सौंप दिया. घाघरा थाना के डुको गांव निवासी सहदेव मुंडा (42) ने घर के छप्पर में रस्सी के सहारे फांसी लगा कर आत्महत्या कर ली. घटना के संबंध में मृतक के परिजनों ने बताया कि सहदेव मुंडा एक माह पूर्व ईंट-भट्टा से कमा कर वापस घर आया था. जब से वह प्रदेश से पैसा कमा कर लौटा था. हमेशा नशे की हालत में रहता था. सोमवार की दोपहर घर पर एक छोटी बच्ची थी, जिसे वह नशे में डांट-फटकार कर भगा दिया और घर के अंदर जाकर फांसी लगा कर आत्महत्या कर ली. थानेदार पुनीत मिंज ने बताया कि आत्महत्या करने की सूचना मिलने पर घटनास्थल पहुंच शव को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए गुमला भेज दिया है. इधर, सिसई थाना के लकेया गांव निवासी सुधू उरांव के पुत्र रोहित उरांव ने सोमवार की रात अपने घर के अंदर दुपट्टा के सहारे फांसी लगा कर आत्महत्या कर ली. घटना की जानकारी परिजनों को मंगलवार की सुबह उस समय हुई, जब रोहित की मां मोनू देवी खाना आदि बनाने के लिए अंदर सोये रोहित को दरवाजा खोलने के लिए दरवाजा खटखटायी. पर अंदर से कोई जवाब नहीं मिलने पर लोग दरवाजा तोड़ कर अंदर गये, तो उसे फांसी से लटके हुए पाया. रोहित ने इस वर्ष मैट्रिक परीक्षा पास की थी. सिसई पुलिस को सूचना मिलने पर शव को पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल गुमला भेज दिया. पिता सुधू उरांव ने बताया कि अन्य दिनों की तरह रोहित सामान्य लग रहा था. सोमवार की शाम वह खाना खाकर अपने कमरे में सोने चला गया और वे लोग दूसरे कमरे में सोने चले गये. वह आत्महत्या किन कारणों से किया. इसकी कोई जानकारी नहीं है. ग्रामीणों ने बताया कि वह मादक पदार्थों का आदी हो गया था. वह ब्राउन शुगर व डेंडराइट का नशा करता था. गांव के कई युवक इसकी चपेट में हैं.
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