तोरपा. दिशोम गुरु शिबू सोरेन के निधन से क्षेत्र के सभी वर्ग के लोग मर्माहत हैं. सभी ने उनके निधन पर शोक व्यक्त करते हुए अपनी संवेदना व्यक्त की है.
फादर तेज कुमार लिंडा :
सिस्टर अलमा बिलूंग :
संत अन्ना बालिका उच्च विद्यालय की प्रधानाध्यापिका सिस्टर अलमा बिलूंग कहती हैं कि गुरुजी त्याग व सादगी के प्रतिमूर्ति थे. उनके जीवन से बहुत कुछ सीखने को मिलता है. वे एक अभिभावक की तरह थे.सोफिया सुल्ताना :
कुणाल कमल कच्छप :
युवा कांग्रेस नेता कुणाल कमल कच्छप ने कहा कि गुरुजी को झारखंड की जनता ताउम्र नहीं भुला सकती, क्योंकि गुरुजी की लड़ाई व बलिदान के कारण ही हम आज अलग झारखंड राज्य ले पाये हैं.लाल विजय नाथ शाहदेव:
रिलन होरो :
अबुआ झारखंड पार्टी के अध्यक्ष व स्वर्गीय एनई होरो के बेटे रिलन होरो कहते हैं पूरे झारखंड ने एक अभिभावक खो दिया है. उनकी जगह कोई नहीं ले सकता है. अब उनके सपनों को पूरा करने के लिए काम करना है.संतोष जायसवाल :
संतोष गंझु:
गुरुजी झारखंड राज्य के जन्मदाता थे. उन्होंने ना सिर्फ झारखंड राज्य को अलग कराया, बल्कि उन्हीं कि अगुवाई में झारखंड के संवारने का काम हुआ. उनका हमारे बीच से अचानक चले जाना बहुत दुःखद है.अजय गुप्ता :
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